9 अगस्त को असंगठित कामगार कांग्रेस द्वारा संसद घेराव
रायपुर। असंगठित कामगार कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय अरविंद सिंह जी ,प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महामंत्री माननीय चंद्रशेखर शुक्ला जी ,मध्य प्रदेश के विधायक एवं छत्तीसगढ़ असंगठित कामगार कांग्रेस के प्रभारी पंचूलाल जी ,प्रदेश अध्यक्ष आलोक पांडे जी के दिशा निर्देश में जूम मीटिंग रखी गई थी । जिसमें विभिन्न मुद्दों पर चर्चा हुआ 9 अगस्त को दिल्ली में संसद घेराव का निर्णय विभिन्न मांगो लेकर लिया गया जिसमें प्रमुख कारण लॉकडाउन में असंगठित मजदूरों कि केंद्र सरकार द्वारा जो अनदेखी की गई जिसके फलस्वरूप असंगठित कामगार कांग्रेस द्वारा मजदूरों की ऑनलाइन पेमेंट न्याय योजना के तहत मांग की गई थी । परंतु अभी तक मजदूरों को किसी भी प्रकार की मदद नहीं की गई कई मजदूरों द्वारा एक जगह से दूसरी जगह पलायन किया जा रहा है जिसमें कुछ मजदूरों कीतो मृत्यु भी हो गई ।
ऐसे परिवारों को केंद्र सरकार के द्वारा उनके भरण-पोषण बच्चों की पढ़ाई लिखाई का खर्चा उठाना था वह भी केंद्र सरकार के द्वारा नहीं की गई वर्तमान में कई ऐसे ऑटो चालक रिक्शा चालक टैक्सी चालक लोग हैं जो अपने रोजी रोटी के लिए प्राइवेट फाइनेंस कंपनी से ब्याज में लेकर गाड़ी फाइनेंस कराते हैं परंतु अभी विगत 2 वर्षों से करोना महामारी के कारण लॉकडाउन के कारण उनको काफी आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ रहा है ।पर भी प्राइवेट फाइनेंस कंपनियों के द्वारा ब्याज पर चक्रवृद्धि ब्याज जोड़कर उन्हें परेशान किया जा रहा है । ऐसे भिन्न मुद्दों को लेकर सैकड़ों कार्यकर्ता के साथ असंगठित कामगार कांग्रेस 9 अगस्त को संसद का घेराव करेंगे।। जिस पर असंगठित कामगार कांग्रेस के भवन सनिर्माण संघ के प्रदेश संयोजक राजीव अवस्थी ने माननीय राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रदेश अध्यक्ष से मांग की की बलोदा बाजार स्थित सीमेंट प्लांट एवं अन्य उद्योगों के द्वारा आसपास के किसानों उसे प्लांट के विस्तार के लिए भूमि लिया एवं उन्हें पूर्ण आश्वासन दिया था कि आप लोगों को जमीन की पूर्ण मुआवजा एवं परिवार से किसी एक सदस्य को नौकरी दी जाएगी परंतु ना ही किसानों को उनकी जमीन का अच्छे से मुआवजा दिया गया नाही उनके परिवार वालों को नौकरी दी गई जिससे कि उनके साथ भाइयों को आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ रहा है । विगत दिनों एक सीमेंट प्लांट में हादसा हुआ था जिसमें सुरक्षा मानकों की कमी पाई गई थी एवं उनके परिवार वालों को 17 लाख मुआवजा दिया गया था परंतु आज भी ऐसे उद्योग है । जहां श्रमिकों के सुरक्षा मानकों का ध्यान नहीं दिया जाता और दुर्घटनाएं होती रहती है जिसके लिए संगठित कामगार कांग्रेस द्वारा न्यायिक लड़ाई लड़ी जाएगी कोर्ट के माध्यम से भी एवं दिल्ली में केंद्रीय मंत्रियों से भी मिलकर ऐसे उद्योगों के ऊपर कार्यवाही की मांग करेंगे जिस पर राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं प्रदेश अध्यक्ष ने इन मामलों को भी 9 अगस्त को अपनी मांगों में शामिल करने एवं केंद्रीय मंत्रियों से चर्चा मैं शामिल की जाएगी