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क्या कोरोना की तरह ही डराएगा मंकी पॉक्स! WHO के बयान से बढ़ी घबराहट

क्या कोरोना की तरह ही डराएगा मंकी पॉक्स! WHO के बयान से बढ़ी घबराहट

कोरोना महामारी अभी खत्म नहीं हुई है और दुनिया के कई देशों में मंकी पॉक्स ने सनसनी फैला दी है। यूरोपीय संघ की रोग एजेंसी का कहना है कि 20 देशों में फैल चुके मंकी पॉक्स के अभी तक 219 मामलों की पुष्टि हो चुकी है। डब्ल्यूएचओ के बयान से यूरोपीय देशों की धड़कन और बढ़ गई है क्योंकि संगठन ने चेताया है कि आने वाले दिनों में इसके मामले और बढ़ सकते हैं। दूसरी ओर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन कह चुके हैं कि कोरोना महामारी की तरह मंकी पॉक्स महामारी साबित नहीं होगा। लेकिन WHO ने इस मामले में चुप्पी साधी हुई है।
1970 को सबसे पहले मंकी पॉक्स का दुनिया में पहला मानव मामला आया है। आम बोलचाल की भाषा में चेचक और मंकी पॉक्स चचेरे भाई हैं। इस साल एक बार फिर मंकी पॉक्स ने यूरोपीय और अफ्रीकी देशों में दस्तक दे दी है। यह अभी तक पश्चिमी और मध्य अफ्रीका के 11 देशों समेत 20 देशों में पैर पसार चुका है। इस वक्त भारत के लिहाज से इसकी अच्छी बात यह है कि देश में इसका एक भी मामला सामने नहीं आया है।
कोरोना की तरह महामारी फैलाएगा मंकी पॉक्स
साल 2020 में दुनिया ने पहली बार कोरोना महामारी का नाम सुना और एक ही साल के भीतर यह पूरी दुनिया में महामारी बनकर उभरा। करोड़ों की संख्या में लोगों को मार चुका कोरोना अभी तक पूरी तरह दुनिया से खत्म नहीं हुआ है। इस बीच मंकी पॉक्स की दस्तक के साथ ही दुनिया के सामने एक और परेशानी खड़ी हो गई है। मंकी पॉक्स अमेरिका, ब्रिटेन जैसे विकसित देशों में भी पैर पसार चुका है। हालांकि अमेरिका स्वास्थ्य विशेषज्ञों का दावा है कि इस बीमारी के महामारी होने की आशंका बेहद कम है क्योंकि यह कोरोना जितना संक्रामक नहीं है।
भारत में एक भी केस नहीं, पर नजर चौकस
आईसीएमआर की वैज्ञानिक डॉ अपर्णा मुखर्जी ने कहा भारत इस संक्रमण के लिए तैयार है, क्योंकि यह यूरोप, अमेरिका और अन्य नॉन-इंडेमिक देशों में तेजी से फैल रहा है। हालांकि, भारत में अब तक कोई मामला रिपोर्ट नहीं किया गया है।'
असामान्य लक्षणों पर कड़ी नजर
अपर्णा मुखर्जी ने असामान्य लक्षणों पर कड़ी नजर रखने पर जोर दिया, खासकर उन लोगों के लिए जिनका मंकी पॉक्स प्रभावित देशों से यात्रा का इतिहास है। डॉ मुखर्जी ने कहा, हमें तेज बुखार, बड़े लिम्फ नोड्स, शरीर में दर्द, चकत्ते आदि जैसे असामान्य लक्षणों पर नजर रखना चाहिए, खासकर वो लोग जो मंकी पॉक्स प्रभावित देशों की यात्रा किए हैं।
संक्रमण से बचने के उपाय?
डॉ मुखर्जी ने कहा कि जिन लोगों में लक्षण दिखते हैं, वे या तो उनमें से निकलने वाले तरल पदार्थ के जरिए सैंपलों का टेस्ट करवा सकते हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी इन वायरसों की टेस्टिंग के लिए रजिस्टर्ड लैंब हैं। उन्होंने आगे कहा कि लोगों को घबराना नहीं चाहिए और उन लोगों के साथ क्लोज कॉन्टैक्ट से बचना चाहिए जो पहले में मंकी पॉक्स से संक्रमित हो चुके हैं। उन्होंने कहा कि आमतौर पर मंकी पॉक्स का संक्रमण बहुत निकट संपर्क होने से फैलता है। इसके लिए निर्धारित दिशानिर्देश हैं जिसे पहले ही प्रकाशित किया जा चुका है।
 

सोर्स: इंडिया.कॉम

रोजाना रात को सोने से पहले करें ये ब्रीथिंग एक्सरसाइज, आएगी बेहतर नींद...

रोजाना रात को सोने से पहले करें ये ब्रीथिंग एक्सरसाइज, आएगी बेहतर नींद...

नींद हमारे स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि चैन की नींद सोने से शरीर तरोताजा महसूस करता है और इससे कई अन्य स्वास्थ्य लाभ भी मिलते हैं। इसके विपरीत अगर किसी कारणवश नींद ठीक से पूरी न हो पाए तो शरीर कई बीमारियों से घिर सकता है। आइए आज हम आपको कुछ ऐसी ब्रीथिंग एक्सरसाइज के बारे में बताते हैं, जिन्हें रात को सोने से पहले कुछ मिनट करने से आपको बेहतर नींद मिल सकती है।

लिप ब्रीथिंग एक्सरसाइज
इस एक्सरसाइज को अगर आप रात को सोने से पहले कुछ मिनट अपने बिस्तर पर किसी भी आरामदायक मुद्रा में बैठकर करते हैं तो यकीनन यह जल्दी असर करेगी और आपको बेहतर नींद आएगी। लिप ब्रीथिंग करने के लिए नाक से सामान्य तरीके से सांस लें। इसके बाद होंठों से सांस को इस तरह धीरे-धीरे छोड़ें जैसे केक पर लगी मोमबत्तियों को बुझाने के लिए फूंक मारी जाती है। इस क्रम को आप पांच से छह बार दोहरा सकते हैं।

डायाफ्रामिक ब्रीथिंग
इस एक्सरसाइज के लिए किसी समतल और शांत जगह पर सीधे बैठ जाएं या फिर बिस्तर पर पीठ के बल लेट जाएं। अब अपना एक हाथ सीने पर और दूसरा पेट पर रखें। इसके बाद नाक से सामान्य तरीके से ऐसे सांस लें कि पेट ज्यादा से ज्यादा अंदर की ओर सिकुड़े और फिर धीरे-धीरे नाक से सांस छोड़ें। इस एक्सरसाइज को एक से दो मिनट दोहराने के बाद सामान्य हो जाएं।

4-7-8 ब्रीथिंग एक्सरसाइज
इस ब्रीथिंग एक्सरसाइज को करने के लिए सबसे पहले अपने बिस्तरे पर बैठें या लेटें। इसके बाद अपने मुंह से सांस छोड़ते हुए एक तेज ध्वनी के साथ आवाज निकालें, फिर मुंह बंद करें और नाक से सांस को अंदर लेते हुए मन ही मन चार तक की गिनती पूरी करें। अब सात सेकंड तक सांस रोककर रखें और फिर से इसे मुंह खोलकर सांस छोड़ें। इस प्रक्रिया को चार बार दोहराएं।

भ्रामरी ब्रीथ एक्सरसाइज
इस एक्सरसाइज के लिए सबसे पहले अपने बिस्तरे पर किसी आरामदायक मुद्रा में बैठें। अब अपने दोनों हाथों को कोहनियों से मोड़कर अपने कानों के पास लाएं और अंगूठों से अपने दोनों कानो को बंद करें। अब हाथों की तर्जनी उंगलियों को माथे पर और मध्यमा, अनामिका और कनिष्का उंगली को बंद आंखों के ऊपर रखें। अब मुंह बंद करके नाक से सांस लेते हुए ओम का उच्चारण करें। कुछ मिनट बाद धीरे-धीरे आंखे खोलें और एक्सरसाइज को छोड़ दें।
 

गर्मियों के दौरान रूखी त्वचा का ख्याल रखने के लिए अपनाएं ये टिप्स...

गर्मियों के दौरान रूखी त्वचा का ख्याल रखने के लिए अपनाएं ये टिप्स...

गर्मी का मौसम किसी भी त्वचा के प्रकार के लिए सही नहीं है, फिर चाहें वह तैलीय त्वचा हो या रूखी त्वचा। गर्मियों के दौरान चलने वाली गर्म हवा त्वचा को शुष्क, कमजोर और परतदार बना सकती है। वहीं, पसीने के कारण त्वचा पर मुंहासें जैसी कई समस्याएं होने लगती हैं। आइए आज हम आपको कुछ ऐसी टिप्स देते हैं, जिन्हें अपनाकर आप गर्मियों के दौरान अपनी रूखी त्वचा का बेहतर तरीके से ध्यान रख सकते हैं।


अपनी त्वचा को हमेशा मॉइश्चराइज करें
मॉइश्चराइजिंग स्किन केयर रूटीन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। फिर चाहें मौसम गर्मी का हो या कोई और, इसका पालन करना बेहद ही जरूरी हो जाता है ताकि गर्मियों के दौरान त्वचा को रूखेपन की समस्या का सामना न करना पड़े। आप चाहें तो त्वचा को मॉइश्चराइजिंग करने के लिए केमिकल युक्त क्रीम और लोशन की बजाय घी, जैतून का तेल और नारियल का तेल जैसे प्राकृतिक मॉइश्चराइजर का इस्तेमाल कर सकते हैं।


एक्सफोलिएशन और हाइड्रेटिंग मास्क है जरूरी
मॉइश्चराइजिंग के साथ समय-समय पर त्वचा को एक्सफोलिएट करना जरूरी है क्योंकि इसकी मदद से रूखी परतदार त्वचा और डेड स्किन सेल्स से छुटकारा मिलता है। एक्सफोलिएशन भले ही आप घर पर बने स्क्रब से करें या फिर अपने लिए कोई माइल्ड स्क्रब क्रीम बाजार से ले आएं, लेकिन आपको हल्के हाथों से यह काम करना है। इसके अतिरिक्त, हफ्ते में दो बार हाइड्रेटिंग मास्क का इस्तेमाल भी जरूर करें।


सनस्क्रीन का इस्तेमाल करना भी है महत्वपूर्ण

भले ही आपकी त्वचा किसी भी प्रकार की हो, आपके लिए सनस्क्रीन लगाना जरूरी है। सनस्क्रीन त्वचा को हाइड्रेट करने के साथ ही सूरज की हानिकारक ङ्क किरणों से बचाकर रखने में काफी मदद कर सकती है, इसलिए रोजाना सीमित मात्रा में एक बार अपने चेहरे पर मेकअप करने से पहले सनस्क्रीन जरूर लगाएं। अगर आप घर से बाहर हैं तो अपने चेहरे पर हर दो से तीन घंटे बाद सनस्क्रीन का इस्तेमाल करें।


कम मेकअप करें
गर्मियों के दौरान आपको कम मेकअप करना चाहिए क्योंकि गर्मियों में हैवी मेकअप करने से चेहरे पर दाने या फिर खुजली की समस्या हो सकती है। इसके लिए आप चाहें तो एक मॉइश्चराइजर, एक कंसीलर और एक न्यूड शेड की लिपस्टिक का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके साथ ही क्रीम या बहुत अधिक चमकदार चीजों का इस्तेमाल न करें क्योंकि ऐसी चीजें आपको पसीने से तर कर देगीं।
 

सिर्फ 15 मिनट में पाए दाग-धब्बों रहित निखरी साफ त्वचा, चेहरे पर लगाएं ये स्ट्रॉबेरी फेस पैक....

सिर्फ 15 मिनट में पाए दाग-धब्बों रहित निखरी साफ त्वचा, चेहरे पर लगाएं ये स्ट्रॉबेरी फेस पैक....

दाग-धब्बों रहित और निखरी साफ त्वचा हर किसी को पसंद होती है। जिसके लिए हम तरह-तरह की क्रीम और रसायन युक्त उत्पादों को त्वचा पर लगाते है लेकिन अगर आप प्राकृतिक घरेलू उत्पादों में विश्वास रखते हैं, तो आज हम आपके लिए स्ट्रौबरी से बने कुछ घरेलू फेस मास्क लेकर आए हैं, जो कील-मुहांसों और एक्ने की समस्या को कम करने के साथ त्वचा में चमक भी ला सकता है।

स्ट्रॉबेरी सभी का मनपसंद फल होता है। सेहत के लिए फायदेमंद होने के साथ-साथ यह सौन्दर्य और त्वचा की देखभाल के लिए भी बहुत उपयोगी माना जाता है। एंटी-ऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर स्ट्रॉबेरी त्वचा में कसाव के साथ-साथ मृत त्वचा को दूर कर दमकती स्किन देती है।
स्ट्रॉबेरी में सोडियम, पोटैशियम, कार्बोहाइड्रेट, शुगर और विटमिन्स के साथ आयरन, मैग्नीशियम और प्रोटीन भी होता है। स्ट्रॉबेरी में पाया जाने वाला सैलिसिलिक एसिड त्वचा की परत एपिडर्मिस को साफ करके रोम छिद्रों को खोलने का काम करता है। इसके अलावा यह त्वचा की नई कोशिकाओं के विकास में और विभिन्न प्रकार के बैक्टीरिया को खत्म करने में कारगर हो सकता है। इसलिए स्ट्रौबरी फेस पैक के द्वारा एक्ने की समस्या में कमी की जा सकती है।

स्ट्रॉबेरी और फ्रेश क्रीम मास्क
सबसे पहले आप स्ट्रॉबेरी प्यूरी लें अब इसमें फ्रेश क्रीम (ड्राई स्किन के लिए) और दही (ऑयली त्वचा के लिए) के साथ एक चम्मच शहद मिला लें। आपका पैक तैयार है। तैयार पैक को अपने फेस पर लगाकर 10 मिनट के लिए छोड़ दें। इसके बाद गुनगुने पानी से अपने चेहरे को साफ करे। यह आपकी त्वचा में मुंहासों को दूर कर स्किन पर चमक और निखार लाता है।

स्ट्रॉबेरी फेस मास्क
यह फेस मास्क सरल और आसान है। इसे तैयार करने के लिए बस आपको तीन या चार स्ट्रॉबेरी की प्यूरी तैयार करनी है। बिना किसी चीज को मिलाए इस प्यूरी को अपने फेस पर लगा ले। 15 मिनट के लिए इसे सूखने दे और फिर नार्मल पानी से इसे धो लें। और यह आपको पार्लर जैसी ताज़ा और चमकदार त्वचा देने में आपकी मदद करता है।

स्ट्रॉबेरी और चॉकलेट मास्क
स्ट्रॉबेरी को मसलकर पेस्ट तैयार करें। इसमें शहद और एक चम्मच कोको पाउड को मिलाए। तैयार पेस्ट 15 मिनट के लिए फेस पर लगाकर छोड़ दें। यह प्राकृतिक तरीके से मृत त्वचा की परत को उतारता है। एंटी-बैक्टीरियल गुण से युक्त शहद आपकी स्किन को मुलायम बनाता है। जबकि स्ट्रॉबेरी और कोको आपकी स्किन को चमकाने का काम करते हैं। त्वचा सॉफ्ट और ग्लोइंग बनेगी।

स्ट्रॉबेरी और नींबू मास्क
त्वचा को चमकाने के लिए स्ट्रॉबेरी और नींबू से बना मास्क लगाएं। यह आपकी स्किन से टैन को दूर कर स्किन की रंगत को निखारने का काम करता है। इसके लिए स्ट्रॉबेरी पेस्ट में एक चम्मच नींबू के रस को मिलाए। अपने फेस पर इस मास्क को लगाएं। 10 मिनट बाद गुनगुने पानी से चेहरे को साफ कर लें।

स्ट्रॉबेरी और दलिया
4-5 स्ट्रॉबेरी और एक चम्मच दलिया मिलाकर पेस्ट बना लें। इसे चेहरे पर लगाकर हलके हाथों से मसाज करें। कुछ ही दिनों में त्वचा ग्लो करने लगेगी।

स्ट्रॉबेरी और एलोवेरा
5-6 स्ट्रॉबेरी में एक चम्मच एलोवेरा जेल मिलाकर लगाएं। पिम्पल्स के कारण होने वाले दाग-धब्बे ठीक हो जाएंगे।

गुलाबी होंठ
होंठों पर मैश स्ट्रॉबेरी लगाकर कुछ देर छोड़ दे। रोजाना ऐसा करने से होंठ गुलाबी बने रहेंगे।
 

अंगूर खाने से फुर्तीला रहता है शरीर, जानिए इसके अनोखे फायदे...

अंगूर खाने से फुर्तीला रहता है शरीर, जानिए इसके अनोखे फायदे...

अंगूर सारे भारत में आसानी से उपलब्ध फल है। वहीं कई लोगों के पसंदीदा फलों में भी इसका नाम शामिल है। जी दरअसल इसमें विटामिन-सी तथा ग्लूकोज पयाप्त मात्रा में पाया जाता है और यह शरीर में खून की वृद्धि करता है और कमजोरी दूर करता है। जी हाँ और यही कारण है कि डॉक्टर लोग मरीजों को फलों में अंगूर भी खाने की सलाह देते हैं। आपको बता दें कि प्रत्येक 100 ग्राम अंगूर में लगभग 85.5 ग्राम पानी, 10.2 ग्राम कार्बोहाइड्रेट्स, 0.8 ग्राम प्रोटीन, 0.1 ग्राम वसा, 0.03 ग्राम कैल्शियम, 0.02 ग्राम फास्फोरस, 0.4 मिलीग्राम आयरन, 50 मिलीग्राम विटामिन-बी, 10 मिलीग्राम विटामिन-सी, 8.4 मिलीग्राम विटामिन-पी, 15 यूनिट विटामिन-ए, 100 से 600 मिलीग्राम टैनिन, 0.41-0.72 ग्राम टार्टरिक अम्ल पाया जाता है।


जी हाँ और इसके अतिरिक्त सोडियम क्लोरॉइड, पोटेशियम क्लोरॉइड, पोटेशियम सल्फेट, मैग्निशियम तथा एल्युमिन जैसे महत्वपूर्ण तत्व भी इसमें भरपूर मात्रा में मौजूद होते हैं। अंगूर में पाई जाने वाली शर्करा पूरी तरह से ग्लूकोज से बनी होती है, जो कुछ किस्मों में 11 से 12 प्रतिशत तक होती है और कुछ में 50 प्रतिशत। जी दरअसल यह शर्करा शरीर में पहुंचकर एनर्जी प्रदान करती है। आपको बता दें कि अंगूर का सेवन थकान को दूर कर शरीर को चुस्त-फुर्त व मजबूत बनाता है। अब हम बताते हैं अंगूर के फायदे।


* अंगूर में क्षारीय तत्व बढ़ाने की अच्छी क्षमता के कारण ही शरीर में यूरिक एसिड की अधिकता, मोटापा, जोड़ों का दर्द, रक्त का थक्का जमना, दमा, नाड़ी की समस्या व त्वचा पर लाल चकत्ते उभरने आदि स्थितियों में इसका सेवन लाभकारी होता है।


* अंगूर का सेवन, आंत, लीवर व पचान संबंधी अन्य रोगों, मुंह में कड़वापन रहना, खून की उल्टी होना, गुर्दे की कार्यक्षमता में कमी, कब्जियत, मूत्र की बामारी, अतिसार कृमि रोग, टीबी (क्षय रोग), अम्ल-पित्त, गुल्म रोग (गांठ) और ग्रहणी आदि रोगों में विशेष लाभकारी होता है।
* अगर किसी ने धतूरा खा लिया हो, तो उसे अंगूर का सिरका दूध में मिलाकर पिलाने से काफी लाभ होता है। अंगूर मियादी बुखार, मानसिक परेशानी, पाचन की गड़बड़ी आदि में असरदार है।


* अंगूर में एक विशेष गुण यह भी पाया जाता है कि यह शरीर में मौजूद विषैले तत्वों को आसानी से शरीर से बाहर निकाल देता है।
* अंगूर के रस को कलई के बर्तन में पकाकर गाढ़ा करके सोते समय आंखों में लगाने से जाला, फूला आदि नेत्र रोगों दूर हो जाते हैं।
* जिन महिलाओं को पर्याप्त दूध न उतरता हो, उनके लिए भी इसका सेवन फायदेमंद है।

बच्चों में गर्मी से होने वाली बीमारियों से रहे सावधान..

बच्चों में गर्मी से होने वाली बीमारियों से रहे सावधान..

रायगढ़ : जिले का तापमान बीते दो सप्ताह से लगातार बदल रहा है। हालांकि गर्मी में कमी नहीं आई है पर बीच-बीच मे हुई बारिश ने उमस को बढ़ा दिया है। बुधवार से नौतपे की भी शुरुआत हो गई है। यानी मौसम में अभी लगातार बदलाव होंगे। इसी के कारण मौसम संबंधित बीमारियों के बढ़ने की संभावना है। छोटे बच्चों में उल्टी-दस्त और बुखार की शिकायत ज्यादा आ रही है। जिला चिकित्सालय के बाल रोग विभाग में ऐसे बच्चों की तादाद ओपीडी में बढ़ी है।

विदित हो कि बच्चों को बाहर का खाना बेहद पसंद होता है। बाहर के खाने से होने वाली बीमारियां गर्मियों के मौसम में आम हो जाती हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि गर्मी में खाना आसानी से ख़राब हो जाता है। संक्रमित और अस्वच्छ खाना खाने से दस्त और उल्टियां शुरू हो सकती है, जिससे शरीर में पानी की कमी हो जाती है। यहां तक कि घर पर बने खाने को भी पुराना करके न खाने की सलाह डॉक्टर देते हैं। इसी तरह बच्चों को खुले मैदान या बाहर खेलना पसंद होता है। जिससे गर्म मौसम में उन्हें लू लग सकती है। हाइपरथर्मिया एक ऐसी स्थिति है जहां शरीर का तापमान असामान्य रूप से ऊंचा हो जाता है, यह संकेत देता है कि यह पर्यावरण से आने वाली गर्मी को नियंत्रित नहीं कर सकता है। गर्मी से थकावट और हीट स्ट्रोक चिकित्सा आपात स्थिति हैं जो हाइपरथर्मिया के अंतर्गत आती हैं। हाइपरथर्मिया से पीड़ित बच्चा सिर दर्द, बेहोशी, चक्कर आना, ज़्यादा पसीना आना, अकड़न जैसे लक्षणों का अनुभव कर सकता है।

इस बारे में बाल रोग विशेषज्ञ डॉ ताराचंद पटेल बताते हैं: “जैसे ही मौसम बदलता है बच्चों की तबियत बिगड़नी शुरू हो जाती है। अभी गर्मी का मौसम गया नहीं है, उमस के कारण दस्त-उल्टी और बुखार से पीड़ित बच्चे ही आ रहे हैं। लेकिन जैसे ही तापमान बढ़ेगा वैसे तेज़ बुखार के लक्षण बच्चों में अधिक होंगे। पालक बच्चों को लू और अचानक तापमान परिवर्तन से बचाएं। पानीयुक्त खाद्य पदार्थ, जूस, सलाद बच्चों के खाने में शामिल करें। बच्चे को भीषण गर्मी से बचाने के लिए उस समय बाहर न भेजें, जब गर्मी चरम पर होती है। शाम होने के साथ बच्चे को बाहर खेलने भेजा जा सकता है।

बच्चों को एलर्जी से बचाएं : डॉ ताराचंद पटेल
डॉ ताराचंद पटेल आगे बताते हैं: ” यह साल का वह समय है जब सूक्ष्मकण व परागकण हवा में मौजूद होते हैं। जिन बच्चों को एलर्जी है उनके लिए गर्मी और उमस स्थिति को और गंभीर बना देती है। अगर बच्चे में थकावट, घरघराहट, सांस लेते समय सीटी की आवाज़, खांसी, सांस फूलने जैसे लक्षण नज़र आएं, तो उन्हें नज़रअंदाज़ न करें, क्योंकि हवा की आवाजाही में कमी धूल और मोल्ड जैसे प्रदूषकों को वायुमार्ग में फंसा सकती है। अस्थमा अटैक को रोकने या खराब होने से बचाने के लिए, बच्चे के पास होने पर किसी को भी धूम्रपान न करने दें, घरों को धूल रहित और धूल-मिट्टी से मुक्त रखें।

मास्क लगाना होगा फायदेमंद
कोविड-19 महामारी ने सभी लोगों को मास्क पहनना सिखा दिया है। यह एक ऐसी आदत है जिसे महामारी के बाद भी जारी रखना फायदेमंद होगा। ऐसा इसलिए क्योंकि इंफ्लूएंज़ा वायरस भी कोरोना वायरस की तरह ही फैलता है। आमतौर पर फ्लू सर्दियों में मौसम में ज़्यादा देखा जाता है, लेकिन यह गर्मी और मौसम बदलने पर भी हो सकता है। इससे बुखार के साथ खांसी और सर्दी हो सकती है। इसलिए हाथों के सफाई और शारीरिक दूरी बनाएं।

 

गर्मी में संतरे का जूस पीने से सेहत में होने वाले फायदों के बारे में जानिए

गर्मी में संतरे का जूस पीने से सेहत में होने वाले फायदों के बारे में जानिए

गर्मी के मौसम में स्वस्थ और सेहतमंद रहने के लिए आप संतरे का सेवन करे संतरे खाना ज्यादातर लोगो को पसंद है ये काफी टेस्टी और पौष्टिक होते है इनका सेवन करने से शरीर से जुडी कई समस्या दूर होती है संतरे में कई पोषक तत्व पाए जाते है इसमें विटामिन,आयरन ,कैल्शियम मौजूद होता है इसे खाने से शरीर में अलग अलग लाभ होते है इस मौसम में आप संतरे का जूस का सेवन करे इससे शरीर में पानी की कमी नहीं होती है तो चलिए जानते है संतरे का जूस पिने से होने वाले इन फायदों के बारे में


संतरे का जूस पीने से सेहत में कई लाभ होते है इसमें विटामिन ज्यादा पाया जाता है और एंटीऑक्सीडेंट तत्व मौजूद है ऐसे में इसका सेवन करने से त्वचा की चमक बढ़ती है इससे त्वचा से जुडी समस्या दूर होती है और चेहरे पर दाग धब्बे दूर होते है और संतरे का जूस पीने से शरीर की इम्युनिटी बढ़ती है इससे शरीर कई बीमारियों से बचा रहता है।


जिन लोगो हार्ट से जुडी समस्या रहती है उन लोगो को संतरे का जूस पीना चाहिए संतरे का जूस पिने से दिल स्वस्थ रहता है इससे दिल से जुडी समस्या दूर होती है अगर आपका वजन बढ़ गया है तो ऐसे में आप संतरे के जूस का सेवन करे इससे वजन जल्दी कम होता है और शरीर में होने वाली सूजन से आराम मिलता है।
 

घर पर आसानी से बनाया जा सकता है डियोड्रेंट, जानिए तरीके...

घर पर आसानी से बनाया जा सकता है डियोड्रेंट, जानिए तरीके...

गर्मियों में पसीने की बदबू और चिपचिपाहट से बचाने में डियोड्रेंट काफी मदद कर सकता है, लेकिन मार्केट की बजाय घर पर ही इसे बनाकर इस्तेमाल करें। दरअसल, मार्केट में मौजूद अधिकतर डियोड्रेंट केमिकल्स से युक्त होते हैं, जिनके इस्तेमाल से त्वचा को नुकसान पहुंच सकता है। आइए आज हम आपको पांच तरह के डियोड्रेंट बनाने के तरीके बताते हैं, जिनका इस्तेमाल न सिर्फ काफी असरदार है बल्कि त्वचा के लिए सुरक्षित भी है।

बेकिंग सोडा और कॉर्नस्टार्च डियोड्रेंट
बेकिंग सोडा और कॉर्नस्टार्च से बना डियोड्रेंट पसीने को जल्दी सोखने और गंध पैदा करने वाले कीटाणुओं को खत्म करने में सहायक है। सबसे अच्छी बात यह है कि ये दोनों सामग्रियां किसी भी किराने की दुकान से आसानी से मिल सकती है। डियोड्रेंट बनाने के लिए एक कंटेनर में छह चम्मच कॉर्नस्टार्च और एक चम्मच बेकिंग सोडा मिलाएं। ध्यान रखें कि इस मिश्रण में पानी नहीं मिलाना है। इसके बाद इस मिश्रण का इस्तेमाल अपनी कांख पर करें।

नारियल के तेल और क्लारी सेज एसेंशियल ऑयल का डियोड्रेंट
नारियल के तेल और क्लारी सेज एसेंशियल ऑयल से बना डियोड्रेंट संवेदनशील त्वचा के लिए सुरक्षित है और इसका इस्तेमाल आपको तरोताजा महसूस कराने में मदद करेगा। डियोड्रेंट बनाने के लिए सबसे पहले एक पैन में पानी गर्म करके उसके अंदर एक कटोरी रखें, फिर उसमें शिया बटर और नारियल का तेल मिलाएं। इसके बाद इसमें ग्रेपफ्रूट और क्लारी सेज एसेंशियल ऑयल और विटामिन-श्व ऑयल मिलाएं। अब गैस बंद करके इसे ठंडा होने दें और आपका डिओडोरेंट तैयार है।

लेमनग्रास डियोड्रेंट स्प्रे
लेमनग्रास की खुबियों से भरपूर डियोड्रेंट पसीने के कीटणुओं को दूर करके त्वचा को साफ और महकाने में मदद कर सकता है। डियोड्रेंट बनाने के लिए सबसे पहले एक स्प्रे बोतल में सेब का सिरका, लैवेंडर एसेंशियल ऑयल, लेमनग्रास एसेंशियल ऑयल और टी ट्री एसेंशियल ऑयल मिलाएं, फिर इसमें डिस्टिल्ड वॉटर डालकर अच्छी तरह मिलाएं। अब बोतल का ढक्कन लगाएं, फिर इस मिश्रण का इस्तेमाल बतौर डियोड्रेंट करें।

शिया बटर और कोकोआ बटर का डियोड्रेंट
डियोड्रेंट बनाने के लिए सबसे पहले एक पैन में पानी गर्म करके उसके अंदर एक कटोरी रखें, फिर उसमें शिया बटर और कोकोआ बटर समेत अपने पसंदीदा एसेंशियल ऑयल की कुछ बूंदें डालें। जब शिया बटर और कोकोआ बटर पिघल जाए तो उसमें बेकिंग सोडा और अरारोट पाउडर मिलाएं। अब गैस बंद करके इस मिश्रण को 24 घंटे के लिए ढककर रख दें, फिर इसे फ्रिज में सेट होने के लिए रखें। इसके बाद आपका डियोड्रेंट तैयार हो जाएगा।

गुलाब जल और लैवेंडर एसेंशियल ऑयल का डियोड्रेंट
गुलाब जल शरीर की दुर्गंध को दूर रखने में बेहद कारगर है और यह पसीने के उत्पादन को कम करने में भी मदद करता है, जबकि लैवेंडर एसेंशियल ऑयल में मौजूद गुण त्वचा को पोषण प्रदान करने के साथ इसे महकाने में सहायक है। डियोड्रेंट बनाने के लिए एक स्प्रे बोतल में ताजा गुलाब जल, सेब का सिरका, लैवेंडर एसेंशियल ऑयल और टी ट्री ऑयल मिलाएं। अब इसका इस्तेमाल बतौर डियोड्रेंट करें।

 

अच्छी सेहत के लिए खूब खाईए मुनगा…

अच्छी सेहत के लिए खूब खाईए मुनगा…

रायपुर : छत्तीसगढ़ में सब्जी के रूप में लोकप्रिय मुनगा अनेक गुणों की खान है। मुनगा के बारे में विज्ञान में प्रमाणित किया गया है कि इसके पेड़ का हर अंग स्वास्थ्य के लिए लाभदायक है। मुनगा (सहजन) लम्बी फलियों वाली एक सब्जी का पेड़ है। स्थानीय बोलियों में मुनगा को सहजना, सुजना, सैजन या सहजन के नाम से भी जाना जाता है। इसका वैज्ञानिक नाम मोरिंगा ओलिफेरा है। मुनगा के जड़, फूल, पत्तियों और फलियों का आयुर्वेद में विस्तार से औषधीय और उपयोगी गुण बताए गए हैं। इसके फूल और फली दोनों का सब्जी में प्रयोग किया जाता है।

मुनगा न केवल स्वादिष्ट है, बल्कि पौष्टिकता से भरपूर भी है। मुनगा में आयरन, विटामिन-सी विटामिन-ए के साथ-साथ पोषक खनिज तत्व भी पाए जाते हैं जो शरीर को पर्याप्त उर्जा प्रदान करते हैं। मुनगा की पत्तियों में प्रोटीन और विटामिन-बी-6, विटामिन-सी, विटामिन-ए और विटामिन-ई होता है। इसमें आयरन, मैग्नीशियम, कैल्शियम, पोटेशियम और जिंक जैसे मिनरल भी पाए जाते हैं। शरीर में खून की कमी जिसे हम एनीमिया कहते हैं, उसे ठीक करने में मुनगा को कारगर माना गया है। मुनगा महिलाओं का कुपोषण दूर करने में भी कारगर है। 

आलू से बनाएं ये लजीज व्यंजन, आसान है रेसिपी...

आलू से बनाएं ये लजीज व्यंजन, आसान है रेसिपी...

अगर आपको आलू से बने व्यंजनों का सेवन करना पसंद है तो यकीनन आप इससे तरह-तरह की रेसिपी को ट्राई करना भी काफी पसंद करेंगे। आइए आज हम आपको आलू से बनाए जाने वाले कुछ व्यंजनों की रेसिपी बताते हैं, जिन्हें आप सिर्फ 30 से 45 मिनट में इन्हें तैयार कर सकते हैं। वहीं, इन्हें आप अपने मेहमानों के लिए चाय-कॉफी या फिर सॉफ्ट ड्रिंक के साथ परोस सकते हैं।


स्पाइरल आलू
सबसे पहले आलू को एक बड़ी तीली में डालें, फिर आली को गोल-गोल करके स्पाइरल के आकार में पतला काटें। इसी तरह तीन से चार आलू को तैयार कर लें। इसके बाद सभी स्पाइरल आलू को कढ़ाई में गोल्डन ब्राउन होने तक तल लें। इसके बाद एक कटोरी में लाल मिर्च का पाउडर, थोड़ा सा औरिगैनो और स्वादानुसार नमक डालकर अच्छे से मिलाएं, फिर इस मसाले को स्पाइरल आलुओं के ऊपर छिड़ककर उनका स्वाद लें।


ट्वाइस बेक्ड पोटैटो कैसरोल
घर पर ट्वाइस बेक्ड पोटैटो कैसरोल बनाने के लिए सबसे पहले आवश्यकतानुसार आलू लें, फिर उन्हें साफ पानी में अच्छे से धो लें। अब सभी आलुओं को एक मिनट के लिए माइक्रोवेव में गर्म कर लें ताकि आलू थोड़े नरम हो जाएंगे, फिर आलुओं को माइक्रोवेव से निकालकर छीलें। इसके बाद एक कटोरे में आलू को मैश करके डालें, फिर इसमें मक्खन, चीज, दूध, हरी प्याज और सॉर क्रीम मिलाकर इस मिश्रण को बेक करें, फिर इसका सेवन करें।


फ्राइड मैश पोटैटो बॉल्स
फ्राइड मैश्ड पोटैटो बॉल्स बनाने के लिए सबसे पहले एक कटोरे में उबले हुए आलू को मैश करके डालें, फिर इसमें पका हुआ बेकन और चेडर चिव्स मिलाएं। इसके बाद कटोरे में थोड़ा गार्लिक पाउडर, स्वादानुसार नमक और एक चुटकी काली मिर्च पाउडर मिलाएं। अब इस मिश्रण की छोटी-छोटी बॉल्स बनाकर उन्हें कढ़ाई में गोल्डन ब्राउन करने तक तल लें, फिर तैयार फ्राइड मैश पोटैटो बॉल्स को हरी चटनी के साथ खाएं।


इंस्टेंट पॉट पोटैटो सूप
घर पर इंस्टेंट पॉट पोटैटो सूप बनाना काफी आसान है। इसके लिए पहले एक इंस्टेंट पॉट में मक्खन डालें, फिर इसमें बारीक प्याज, लहसुन और कुछ करी पत्ते डालें। इसके बाद इंस्टेंट पॉट में थोड़े उबले आलू और चिकन शोरबा डालकर इसे 8-10 मिनट के लिए पकाएं। अब दूध, मलाई और कॉर्नस्टार्च का घोल बनाएं, फिर इसे इंस्टेंट पॉट में डालकर पांच मिनट पकाएं, फिर सूप में स्वादानुसार नमक और एक चुटकी काली मिर्च का पाउडर मिलाकर इसका सेवन करें।
 

शरीर को मजबूती प्रदान करने में सहायक हैं ये एक्सरसाइज, घर में ही करें अभ्यास..

शरीर को मजबूती प्रदान करने में सहायक हैं ये एक्सरसाइज, घर में ही करें अभ्यास..

आमतौर पर लोग शरीर को मजबूत बनाने के लिए जिम का सहारा लेते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं कि यह काम घर में ही कुछ आसान एक्सरसाइज के जरिये भी पूरा किया जा सकता है? कई ऐसी एक्सरसाइज हैं, जो न सिर्फ प्राकृतिक रूप से मजबूती प्रदान कर सकती हैं बल्कि शरीर में लचीलापन भी ला सकती हैं। आइए आज आपको कुछ ऐसी एक्सरसाइज के बारे बताते हैं, जिनकी मदद से शरीर को मजबूत बनाया जा सकता है।

स्क्वाट
स्क्वाट एक्सरसाइज करने के लिए सबसे पहले अपने दोनों हाथ सामने की ओर खोलकर सीधे खड़े हो जाएं। इस दौरान आपकी छाती एकदम तनी हुई होनी चाहिए। अब धीरे-धीरे अपने घुटनों को मोड़ते हुए ऐसे बैठें, जिस तरह से कुर्सी पर बैठा जाता है। इसके बाद सांस भरते हुए धीरे-धीरे नीचे झुकें, फिर ऊपर आते समय सांस छोड़ें। ऐसा आप 10 मिनट तक कर सकते हैं। शुरूआत में 10 स्क्वाट करें और फिर धीरे-धीरे 12-15 तक ले जाएं।

लंज
लंज एक्सरसाइज के लिए सबसे पहले जमीन पर सीधे खड़े होकर अपने दाएं पैर को आगे बढ़ाएं और उसको घुटनों से मोड़ते हुए 90 डिग्री का कोण बनाएं। अब बायां पैर पीछे के ओर सीधा करें और दोनों पैरों के बीच में कम से कम दो-तीन फीट की दूरी कायम करें। कुछ सेकेंड इसी स्थिति में रहने के बाद खुद को ऊपर की ओर उछालें। इससे आप प्रारंभिक स्थिति में आ जाएंगे। इसी तरह दोनों पैर से 12-15 रेप्स करें।

पुश अप्स
पुश अप्स के लिए सबसे पहले जमीन पर पेट के बल लेट जाएं, फिर गर्दन को सीधा रखें और हथेलियों को कंधों के नीचे रखें। वहीं, पंजे जमीन से सटे हुए हों। अब हाथों पर जोर डालते हुए शरीर को धीरे-धीरे ऊपर-नीचे करें, लेकिन इस दौरान ध्यान रखें कि शरीर को नीचे लाते समय छाती जमीन से छूनी चाहिए। इसके बाद अपने हाथों को सीधा करें और 10 सेकंड इसी अवस्था में रहें, फिर धीरे-धीरे सामान्य हो जाएं।

जंपिंग जैक
जंपिंग जैक के लिए सबसे पहले जमीन पर सावधान मुद्रा में खड़े हो जाएं, फिर पैरों को अपने कूल्हों की चौड़ाई के बराबर खोलें। इसके बाद कूदें और इस दौरान अपने हाथों को अपने सिर के ऊपर ले जाते हुए मिलाएं, फिर से कूंदें और अपनी बाजुओं को नीचे लाने के साथ ही पैरों को एक साथ चिपकाएं। कुछ सेकेंड के बाद आप अपनी प्रारंभिक स्थिति में आ जाएं और इस क्रिया को बार-बार दोहराएं।

 

पैरों की खूबसूरती बढ़ा सकते हैं ये स्क्रब, जानिए बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका...

पैरों की खूबसूरती बढ़ा सकते हैं ये स्क्रब, जानिए बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका...

चेहरे को निखारने के लिए लोग न जाने क्या कुछ नहीं करते हैं, लेकिन वे शरीर के अन्य अंगों पर ध्यान देना भूल जाते हैं, खासकर पैरों की सफाई को नजरअंदाज कर देते हैं। ऐसे में पैरों पर डेड स्किन सेल्स जमने या फिर कालेपन की समस्या हो सकती है। हालांकि, आप चाहें तो कुछ होममेड स्क्रब का इस्तेमाल करके अपने पैरों को खूबसूरत बना सकते हैं। चलिए फिर इन्हें बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका जानते हैं।


एप्सम सॉल्ट और नारियल के तेल का फुट स्क्रब

एंटी-इंफ्लेमेटरी गुणों से भरपूर नारियल का तेल पैरों को मॉइश्चराइज और पोषण प्रदान करने में सहायक है, जबकि एप्सम सॉल्ट डेड स्किन सेल्स को हटाता है। बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका: सबसे पहले एक कटोरी में एप्सम सॉल्ट और नारियल का तेल मिलाएं, फिर इसमें किसी भी एसेंशियल ऑयल की तीन-चार बूंदें और विटामिन-श्व ऑयल मिलाएं। इसके बाद गीले पैरों पर इस मिश्रण से 20 मिनट तक स्क्रब करने के बाद उन्हें पानी से धो लें।


कॉफी और ब्राउन शुगर का फुट स्क्रब
कॉफी और ब्राउन शुगर का फुट स्क्रब पैरों को डेड स्किन सेल्स और कालेपन से छुटकारा दिलाने के साथ-साथ इन्हें कोमल और मुलायम बनाने में काफी मदद कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, यह आपके पैरों के ब्लड सर्कुलेशन को बढ़ाने में भी मदद करता है। बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका: थोड़ा नारियल तेल गर्म करें, फिर उसमें पिसी हुई कॉफी और ब्राउन शुगर मिलाएं। अब इस मिश्रण का इस्तेमाल पैरों पर बतौर स्क्रब करें।


शहद और नींबू का फुट स्क्रब
यह शहद और नींबू का फुट स्क्रब आपके पैरों को एक्सफोलिएट और मॉइश्चराइज करेगा और कुछ ही समय में इनकी समान रंगत को भी ठीक कर देगा। बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका: पहले एक कटोरी में एप्सम सॉल्ट, नारियल का तेल और चीनी मिलाएं, फिर इसमें थोड़ा शहद और ताजा नींबू का रस मिलाएं। अब इस मिश्रण को अपने पैरों पर लगाएं और धोने से पहले कुछ मिनट के लिए हल्के हाथों से पैरों की मसाज करें।


ओटमील फुट स्क्रब
अगर आप पैरों की रूखी और खुजली वाली त्वचा से परेशान हैं तो यह ओटमील स्क्रब आपके लिए एकदम सही विकल्प है। ओटमील पैरों से डेड स्किन सेल्स को धीरे-धीरे हटा देगा और त्वचा के रोगों को भी ठीक कर सकता है। बनाने और इस्तेमाल करने का तरीका: सबसे पहले एक कटोरी में ओटमील, बेकिंग सोडा और पानी मिलाकर गाढ़ा पेस्ट बना लें, फिर इस मिश्रण का इस्तेमाल बतौर फुट स्क्रब करें।

 

गर्मियों को प्यास मिटाने वाली कोल्ड ड्रिंक्स होती है आपकी जान की दुश्मन

गर्मियों को प्यास मिटाने वाली कोल्ड ड्रिंक्स होती है आपकी जान की दुश्मन

गर्मियों की शुरुआत हो चुकी है ऐसे भी मार्केट में कई तरह की चिल्ड सॉफ्ट ड्रिंक पहुंच चुके हैं आप लोग भी अपने प्यास मिटाने के लिए सॉफ्ट ड्रिंक का इस्तेमाल करते हैं लेकिन आपको बता दें कि यह सॉफ्टवेयर तूफानी भले ही लगे लेकिन इस शरीर के लिए काफी फायदेमंद नहीं होती है आज हम आपको इनके नुकसान बताते हैं।


सॉफ्ट ड्रिंक पिने के अगले 20 मिनट में शुगर लेवल बढ़ जाता है और इंसुलिन का फ्लोर तेज हो जाता है लिवर इसे कंट्रोल करने की कोशिश तो करता है लेकिन एक्स्ट्रा शुगर फेट में कन्वर्ट हो जाती है कोल्ड ड्रिंक पीने के 40 मिनट बाद, शरीर में कैफीन का असर दिखता है आँखों की पुतलिया बढऩे लगती है इसके साथ ही बीपी बढऩे लगती है।


अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन के मुताबिक कोल्ड्रिंक को गंभीर बीमारियों की जड़ माना गया है इससे ना सिर्फ मोटापा बढ़ता है बल्कि किडनी लीवर भी धीरे-धीरे बीमार होने लगते हैं यह स्ट्रोक और जिम्नेशिया की खतरा भी बढ़ जाता है हावर्ड यूनिवर्सिटी केस स्टडी के अनुसार कोल्ड ड्रिंक से हर साल करीब पौने दो लाख लोगों की मौत हो जाती है इसके साथ ही फास्ट फूड का इसके साथ कॉन्बिनेशन इसे और भी घातक बनाता है।
 

देश में ओमिक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4 मिलने की पुष्टि, यहाँ मिला पहला केस

देश में ओमिक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4 मिलने की पुष्टि, यहाँ मिला पहला केस

भारत में कोरोना वायरस के ओमिक्रॉन के सब वैरिएंट BA.4 का पहला केस हैदराबाद में मिला है। इंडियन सॉर्स कोव-2 जिनोमिक्स कंसोर्टियम (INSACOG) ने इसकी पुष्टि की है। INSACOG ने एक बैठक भी की है और BA.4 पर चर्चा की है, आनुवंशिक प्रयोगशालाओं का ग्रुप वर्तमान में नए वेरिएंट की पहचान करने के लिए काम कर रहा है।
सूत्रों ने कहा, 'बीए.4 के पहले मामले का पता लगाने के बाद, दक्षिण अफ्रीका से हैदराबाद की यात्रा करने वाले व्यक्ति के संपर्क में आने वालों के संपर्क का पता लगाना शुरू कर दिया गया है। वह असिम्प्टोमैटिक था और नमूना 9 मई को एकत्र किया गया था।'
इंसाकोग सोमवार को मेडिकल बुलेटिन जारी करेगा। Omicron के BA.4 और BA.5 दोनों प्रकार दक्षिण अफ्रीका में कोरोना वायरस की पांचवीं लहर से जुड़े हैं और हाल ही में अमेरिका और यूरोप ने भी रिपोर्ट किया है।
 

पहली बार जिम जा रहे हैं? अपने बैग में इन चीजों को जरूर रखें

पहली बार जिम जा रहे हैं? अपने बैग में इन चीजों को जरूर रखें

अगर आपने हाल ही में कोई जिम ज्वाइन किया है तो आपको बता दें कि इसके लिए आपको एक बैग तैयार करना होगा। हालांकि, अगर आप इस बात से वाकिफ नहीं है कि जिम के बैग में किन-किन चीजों को रखना जरूरी है तो आपको परेशान होने की जरूरत नहीं है क्योंकि आज का लेख आपके लिए ही है। आइए जानते हैं कि जिम के बैग में किन चीजों को रखना जरूरी होता है।


अच्छी फिटिंग वाले कपड़े
वर्कआउट चाहें जिम में हो या घर पर, इसमें कपड़े बेहद ही महत्वपूर्ण भूमिका अदा करते हैं और कपड़े सही होने पर ही अच्छे से वर्कआउट किया जा सकता है। इसलिए आपके जिम वाले बैग में एक जोड़ी कपड़े जरूरी होने चाहिए। इसके लिए आप स्ट्रेचेबल पैंट और टॉप का चयन कर सकते हैं। वैसे पॉलीप्रोपाइलीन युक्त कपड़े जिम वर्कआउट के लिए एक अच्छा विकल्प साबित हो सकते हैं क्योंकि यह त्वचा के पसीने को जल्दी सोख लेता है।


एक तौलिया सेट
वर्कआउट सेशन के बीच में पसीने को पोंछने के लिए तौलिए की जरूरत पड़ेगी, इसलिए इसे भी अपने जिम के बैग में जरूर रखें। ध्यान रखें कि बैग में एक बड़ा तौलिया और एक या दो छोटे तौलिए रखने हैं। अगर आप वर्कआउट के बाद स्टीम रूम में जाते हैं तो उस समय बड़ा तौलिया आपके काम आएगा। हालांकि, तौलिए का इस्तेमाल करते समय इसे त्वचा पर रगड़े नहीं बल्कि हल्के हाथों से थपथपाएं।


एक जोड़ी जूते
वर्कआउट के लिए जिम के बैग में जूते रखते समय इस बात का ध्यान रखें कि वे आपके पैर की सबसे बड़ी उंगली और जूतों में हमेशा आधे से एक इंच का अंतर होना चाहिए ताकि इन्हें पहनने पर पैरों में लडख़ड़ाहट न हो। दरअसल, चलते या दौड़ते समय हमारे पैर का पंजा आगे की ओर मुड़ता है और इसी कारण हमें जूते के भीतर कुछ अतिरिक्त स्थान की आवश्यकता होती है।


पानी की बोतल है जरूरी
जिम के बैग में एक पानी की बोतल जरूर रखें क्योंकि वर्कआउट करने से अत्यधिक पसीना आता है जिसके कारण आपके शरीर में पानी की कमी हो सकती है, इसलिए खुद को हाइड्रेट रखना जरूरी है। इसके लिए अपने पास पानी की बोतल रखें ताकि प्यास लगने पर आपको हर बार वाटर कूलर की ओर न भागना पड़े। बेहतर होगा कि आप अपने वर्कआउट सत्र के दौरान हर 10-20 मिनट में एक से दो घूंट पानी की पिएं।
 

गर्मी में निखरी और खिली-खिली त्वचा के लिए करे यह घरेलू उपाये....

गर्मी में निखरी और खिली-खिली त्वचा के लिए करे यह घरेलू उपाये....

गर्मियां अपने यौवन पर हैं। गर्मी में तेज़ धूप मौसम की गर्मी और सूर्य की अल्ट्रा वायलट किरणों से त्वचा झुलस जाती है और त्वचा में कालापन आ जाता है। वातावरण में गर्मी, प्रदूषण, गर्म हवा, लू आदि से त्वचा की प्रकृतिक चमक खो जाती है और त्वचा बेजान, रूखी, काली हो जाती है। इसकी वजह से त्वचा पर काले मस्से, खाज-खुजली तथा त्वचा की रंगत खराब हो जाती है, लेकिन ऐसा कतई नहीं है कि गर्मियों में आप अपनी त्वचा को कोमल, मुलायम, नरम नहीं रख सकती। बल्कि अगर आप अपनी रसोई में रखी सामग्री का उपयोग करें तो गर्मियों में भी आपकी त्वचा निखरी और खिली-खिली रह सकती है। रसोई घर में रखे बादाम, हल्दी, दही, लस्सी, टमाटर, खीरा तथा फल-सब्ज़ियों का उपयोग करके आप गर्मियों में अपनी त्वचा की ताज़गी और आभा को बनाए रख सकती हैं।

खीरा त्वचा को कोशिकाओं में खिंचाव लाता है जिससे आप युवा दिखेंगी। हल्दी को प्रकृतिक एंटीसैपटिक और त्वचा को नर्म, मुलायम बनाए रखने में प्रयोग किया जाता है। टमाटर के प्रयोग से त्वचा की रंगत में निखार आता है तथा तैलीय त्वचा में आरामदेह साबित होता है। दही, छाछ तथा लस्सी के नियमित प्रयोग से त्वचा को पौषण प्रदान होता है तथा त्वचा मुलायम व कोमल बनी रहती है। इन उत्पादों के नियमित प्रयोग से त्वचा स्वास्थ्यवर्धक व युवा बनी रहती है।


रसोई घर में विद्यमान पीसे बादाम, चावल के आटे, जेई, अखरोट पाउडर को मास्क और स्क्रब में प्रयोग किया जा सकता है। जिससे त्वचा में निर्जीव कोशिकाओं को हटाकर त्वचा में ताज़गी तथा स्फूर्ति लाई जा सकती है। फ्रूट पैक त्वचा के निखार में काफी मददगार साबित होते हैं क्योंकि फलों में विद्यमान एसिड से त्वचा की रंगत में निखार आता है। फलों को दही या नींबू के साथ मिलाकर बने पैक ज्यादा लाभदायक तथा प्रभावी होते हैं। ऐलोवेरा के नियमित प्रयोग से भी त्वचा में नमी विद्यमान रहती है और रंगत में निखार आता है। आप घर पर रह कर ही निम्नलिखित तरीकों से अपनी त्वचा को कोमल व मुलायम बना सकती हैं।



केसर की कुछ पंखुड़ियों को गर्म दूध में मिलाकर दूध को सामान्य वातावरण में ठण्डा होने दें। इसके ठण्डा हो जाने के बाद कॉटनवूल की मदद से त्वचा पर लगाकर आधे घण्टे के बाद ताजे़ साफ पानी से धो डालें। इससे त्वचा की रंगत में निखार आएगा।

चुटकी भर हल्दी को दही में मिलाकर नियमित रूप से चेहरे पर लगायें। आप इसमें सूखे पाउडर नींबू छाल को भी मिला सकती हैं। इस मिश्रण को चेहरे पर लगाने के आधे घण्टे बाद ताज़े साफ पानी से धो डालिए। नींबू जूस और खीरा रश्स को बराबर मात्रा में मिलाकर प्रतिदिन 30 मिनट तक चेहरे पर लगाने के बाद ताज़े पानी से धो डालिए। खीरा तथा पके हुए पपीते की लुगदी को दही में मिलाईए। आप इसमें नींबू रस भी मिला सकती हैं। इस मिश्रण को सप्ताह में दो बार चेहरे पर लगाकर सामान्य तापमान में सूख जाने के बाद सामान्य पानी से धो डालिए।
तैलीय त्वचा के लिए मुल्तानी मिट्टी, गुलाब जल, नींबू रस का पेस्ट बनाकर चेहरे पर लगा लें तथा सूख जाने पर चेहरे को धो डालें। बादाम पाउडर को दही तथा चुटकी भर हल्दी में मिलाकर बने पेस्ट को चेहरे पर लगाकर आधे घण्टे बाद आहिस्ता-आहिस्ता हटा लीजिए तथा चेहरे को ताज़े साफ पानी से धो डालिए।


चुटकी भर हल्दी, बेसन तथा एलोवेरा का पेस्ट बनाकर इसका रोज़ाना प्रयोग करें।
तीन चम्मच एलोवेरा जेल/जूस को तीन चम्मच पाउडर दूध में मिलाकर मिक्सी में ब्लैंड करके पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को चेहरे, हाथों और गर्दन आदि खुले अंगों पर लगाकर धो डालें। यह सामान्य तथा सभी प्रकार की त्वचा के लिए लाभकारी है। सामान्य से तैलीय त्वचा के लिए एक चम्मच खीरा जूस, पके हुए पपीते की लुगदी, एलोवेरा जेल को दो चम्मच जेई में मिलाकर पेस्ट बना लें। इसे आप हफ्ते में दो बार चेहरे तथा खुले भागों में लगा सकती हैं।


दो चम्मच एलोवेरा जैल, कच्चा दूध, गुलाब जल तथा नींबू छिलके के पाउडर को मिलाकर पेस्ट बना लें तथा इस पेस्ट को आप हफ्ते में दो बार प्रयोग कर सकती हैं। गर्मियों में सामान्यतः दो या तीन लीटर पानी का सेवन करें। नींबू पानी, नारियल पानी, तरबूज़ तथा ताज़े जूस शरीर में नमी बनाए रखने में अहम भूमिका अदा करते हैं।


अपने आहार में सालाद, सब्ज़ियों, मौसमी फलों, खट्टे फलों, जूस को ज़रूर शामिल कीजिए क्योंकि यह आपके शरीर में आन्तरिक तौर पर ठण्डक बनाए रखने में मदद करेंगे। शरीर में पर्याप्त नमी से सूर्य की किरणों से झुलसी त्वचा प्रकृतिक तौर पर स्वस्थ हो जाएगी। 

होंठों से लेकर एडिय़ों तक में चमक लाएगा खरबूजा, जानिये इसके बेनिफिट्स....

होंठों से लेकर एडिय़ों तक में चमक लाएगा खरबूजा, जानिये इसके बेनिफिट्स....

खरबूजा एक ऐसा फल है जो गर्मी के दिनों में खूब पसंद किया जाता है। खरबूजा उन फलों में से है, जो टेस्टी होने के साथ शरीर को हाइड्रेट रखने का काम करता है। ऐसे में आप खरबूजे को कई तरह से इस्तेमाल कर सकते हैं। जी दरअसल इसमें शरीर को हेल्दी रखने वाले पोषक तत्व जैसे विटामिन ए, बी 6, सी व अन्य कई पाए जाते है। हालाँकि क्या आप जानते हैं कि इसके कई ब्यूटी बेनिफिट्स भी हैं। आज हम आपको उन्ही के बारे में बताने जा रहे हैं।

क्लींजर के रूप में- गर्मी हो या सर्दी अगर बॉडी में विटामिन सी की कमी हो, तो स्किन पर डार्कनेस आने लगती है। ऐसे में आप इसकी कमी खरबूजे से पूरी कर सकते हैं। खरबूजे को क्लींजर की तरह यूज करें। इसके लिए एक बर्तन लें और इसमें खरबूजे को मैश कर लें। अब इसे हाथों से चेहरे पर अप्लाई करें और धीरे-धीरे इसकी मसाज करें। आप हफ्ते में करीब दो बार ऐसा करें।

फेस टोनर- आप खरबूजे और गुलाब जल से बनने वाले टोनर को अपने स्किन केयर रूटीन में शामिल कर सकते हैं हैं। जी हाँ और इसके लिए एक बर्तन में खरबूजे का रस निकालें और इसमें थोड़ा गुलाब जल मिला लें। रात में सोने से पहले इसे स्किन पर स्प्र करें।

लिप स्क्रब- खरबूजा होंठों की खूबसूरती बढ़ाने के लिए अच्छा है। इसके लिए एक बर्तन लें और इसमें खरबूजा मैश कर लें और अब इसमें थोड़ा सा ग्लिसरीन मिलाएं और इसे होंठों पर लगाएं। कुछ देर इसकी मसाज करने के बाद इसे सूखने के लिए छोड़ दें। अब कॉटन की मदद से होंठों को साफ कर लें।

एडिय़ां- फटी हुई एडिय़ों को सॉफ्ट एवं चमकदार बनाने के लिए खरबूजे को मैश करें और इसमें पीसा हुआ ओट्स डालें। अब हल्के हाथों से इसकी एडिय़ों पर स्क्रब करें।

 

अच्छी नींद से लेकर डैंड्रफ खत्म करने में लाजवाब है संतरे के छिलके, ऐसे करे इस्तेमाल

अच्छी नींद से लेकर डैंड्रफ खत्म करने में लाजवाब है संतरे के छिलके, ऐसे करे इस्तेमाल

भारत में संतरे खाना लोगों को बहुत पसंद होते हैं और यहाँ यह फल शौक से खाया जाता है। जी दरअसल इसका खट्टा-मीठा स्वाद होता है जो हर किसी को अपनी ओर खिंच लेता है। इसी के साथ इसमें मौजूद विटामिन सी, कैल्शियम और फोलेट सेहत के लिए लाभकारी है। वैसे इसके अंदरूनी फल को तो हम खा लेते हैं, लेकिन छिलका हम कूड़ेदान में फेक देते हैं। वैसे इसके छिलके के भी कई फायदे हैं जिसके बारे में आज हम आपको बताने जा रहे हैं।


स्किन के लिए अच्छा- संतरे का छिलका हमारी त्वचा के लिए किसी वरदान से कम नहीं होता। जी हाँ और अगर आपकी स्किन ऑयली है तो ये किसी औषधि से कम नहीं है। केवल यही नहीं बल्कि इसके पाउडर को शहद में मिलाकर पेस्ट तैयार कर लें और चेहरे पर लगाएं। ऐसा करने से चेहरे पर ग्लो आ जाएगा और दाग घब्बे भी दूर हो जाएंगे।


नींद- अगर आपको अच्छी नींद नहीं आती तो इसके लिए संतरे के छिलके को पानी में डालकर गर्ग कर लें और फिर इसे पी जाएं।
इम्यूनिटी बूस्ट- संतरे के छिलको में एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं जो इम्यूनिटी बूस्ट करने का काम करते हैं। जी हाँ और इसके लिए संतरे के छिलके को गर्म पानी में धोकर खा सकते हैं।


बालों का कंडीशनर - आज के समय में लोग केमिकल युक्त कंडिशनर लगाते हैं, लेकिन आप छिलके को भी कंडीशनर बना सकते हैं। इसके लिए संतरे के छिलके को सुखाकर पाउडर बना लें, फिर उसमें शहर मिक्स कर लें और सिर पर लगा लें। कुछ देर धोने के बाद बाल शाइनी हो जाएंगे।
डैंड्रफ खत्म- इसके लिए संतरे के छिलके को सुखाकर अगर आप पाउडर तैयार कर लें और फिस इसमें नारियल के तेल को मिक्स करें। अब इस मिक्सचर को बालों में लगा डाले।

अस्थमा के जोखिम कम करने में मदद कर सकते हैं ये एसेंशियल ऑयल्स...

अस्थमा के जोखिम कम करने में मदद कर सकते हैं ये एसेंशियल ऑयल्स...

अस्थमा की बीमारी शरीर के वायुमार्ग की अंदरूनी दीवारों में सूजन आने और सिकुडऩे के कारण होती है, जिसके परिणामस्वरूप व्यक्ति को सांस लेने में तकलीफ होती है। इस बीमारी से बचने और इसके जोखिमों को कम करने में कुछ एसेंशियल ऑयल्स काफी मदद कर सकते हैं। आइए आपको कुछ ऐसे एसेंशियल ऑयल्स के बारे में बताते हैं, जिनका इस्तेमाल करना अस्थमा के रोगियों के लिए लाभदायक हो सकता है।


लैवेंडर एसेंशियल ऑयल

लैवेंडर ऑयल में मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण अस्थमा से प्रभावित वायुमार्ग को आराम देकर बीमारी के जोखिमों को कम करने में सहायक हैं। लाभ के लिए लैवेंडर ऑयल की कुछ बूंदें डिफ्यूजर में डालें और इसे चालू करके अपने बिस्तर के पास रखें। इससे आपको बहुत जल्द ही राहत मिलेगी। हालांकि, अगर आपको पास डिफ्यूजर नहीं है तो आप रूई के टुकड़े पर दो-तीन बूंद लैवेंडर ऑयल डालें, फिर इसे सूंघें।

रोजमेरी एसेंशियल ऑयल

एक अध्ययन से पता चला है कि रोजमेरी एसेंशियल ऑयल का इस्तेमाल उन लोगों में अस्थमा के लक्षणों को कम कर सकता है, जिन्होंने पारंपरिक उपचार से सुधार नहीं देखा। इस अध्ययन में अस्थमा रोगियों में खांसी और घरघराहट जैसे अस्थमा के लक्षणों में कमी देखी गई है। लाभ के लिए एक रूई के टुकड़े पर थोड़ा सा रोजमेरी एसेंशियल लगाकर उसे कुछ मिनट के लिए सूंघे। हालांकि, इसके लिए पहले अपने डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।

थाइम एसेंशियल ऑयल

थाइम एक हर्ब है, जिससे बने तेल का इस्तेमाल काफी समय से अस्थमा के उपचार के लिए किया जाता आ रहा है। इसका मुख्य कारण यह है कि थाइम एसेंशियल ऑयल में एंटी-ऑक्सीडेंट गुण होते हैं, जो अस्थमा के जोखिम कम करने में सक्षम है। वहीं, इसमें मौजूद एंटी-बैक्टीरियल तत्व अस्थमा के लक्षणों को कम करने में मदद कर सकते हैं। लाभ के लिए रोजाना थाइम एसेंशियल ऑयल को कुछ मिनट के लिए सूंघे।

रोमन कैमोमाइल एसेंशियल ऑयल

रोमन कैमोमाइल एसेंशियल ऑयल भी कई ऐसे गुणों से समृद्ध होता है, जो अस्थमा के लक्षणों को प्रभावी ढंग से कम करने में मदद कर सकता है। इसके लिए रोमन कैमोमाइल ऑयल की कुछ बूंदें डिफ्यूजर में डालें और इसे चालू करके अपने पास रखें। हालांकि, अगर आपके पास डिफ्यूजर नहीं है तो आप एक रूई के टुकड़े पर थोड़ा सा रोमन कैमोमाइल ऑयल लगाकर उसे कुछ मिनट के लिए सूंघे।
 

गर्मियों के लिए बेस्ट ड्रिंक साबित होगी पुदीना-नींबू शरबत, शरीर को देगी ठंडक

गर्मियों के लिए बेस्ट ड्रिंक साबित होगी पुदीना-नींबू शरबत, शरीर को देगी ठंडक

गर्मियों का समय आ चुका हैं जिसमें बॉडी को हाइड्रेट रखने के लिए ज्यादा से ज्यादा पेय पदार्थ का सेवन किया जाना चाहिए जिससे सेहत बनी रहे। गर्मियों के दिनों में सभी को ऐसे पेय पदार्थ की जरूरत होती हैं जो शरीर को ठंडक देने के साथ ही ताजगी प्रदान करें। ऐसे में आज इस कड़ी में हम आपके लिए पुदीना-नींबू शरबत बनाने की रेसिपी लेकर आए हैं जो गर्मियों के लिए बेस्ट ड्रिंक साबित होगी। तो आइये जानते हैं इसकी रेसिपी के बारे में...


आवश्यक सामग्री
पुदीना पत्ती - 25-30
नींबू - 4
चीनी - 3/4 कप
जीरा पाउडर - 1 टेबलस्पून
आइस क्यूब्स - 5-6
पानी - 4 गिलास


बनाने की विधि

देसी कोल्ड ड्रिंक पुदीना और नींबू का शरबत बनाने के लिए सबसे पहले पुदीना को लें और उसे साफ पानी से अच्छी तरह से धो लें। इसके बाद एक बाउल में पुदीना अलग रख दें। इसके बाद नींबू को लें और उसे बीच से 2 टुकड़ों में काट लें और उसके बीज निकालकर अलग कर दें और एक कटोरी में नींबू का रस निकाल लें। इसके बाद मिक्सर में पुदीने की पत्तियां, नींबू का रस, चीनी और पानी डालकर ग्राइंड करें।
मिक्सर में इस मिश्रण को इतना ग्राइंड करें कि मिक्चर महीन हो जाए। इसके बाद शरबत को छान लें और चार गिलास में बराबर मात्रा में डाल दें। इस तरह आपका स्वादिष्ट नींबू का शरबत बनकर तैयार हो गया है। सर्व करने से पहले नींबू शरबत में एक-एक आइस क्यूब डाल दें। आप चाहें तो शरबत में ज्यादा आइस क्यूब्स भी डाल सकते हैं। इसके बाद हर गिलास में थोड़ा-थोड़ा जीरा पाउडर डालकर चम्मच से घोलें। जो भी इस शरबत को पिएगा उसके शरीर में ठंडक घुल जाएगी और वह दिनभर ताजगी महसूस करेगा।