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 बड़े काम आ सकते हैं बर्तन धोने वाले साबुन से जुड़े ये हैक्स, जरूर आजमाकर देखें

बड़े काम आ सकते हैं बर्तन धोने वाले साबुन से जुड़े ये हैक्स, जरूर आजमाकर देखें

अब तक आप बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल बर्तनों को धोने के लिए करते आए होंगे, लेकिन इसका इस्तेमाल सिर्फ यहीं तक सीमित नहीं है। दरअसल, आप घर के छोटे-बड़े कामों के लिए और अन्य चीजों के विकल्प के रूप में बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल करके अपने कई कामों को बेहद आसान बना सकते हैं। शायद आप इस बात से वाकिफ नहीं हैं तो चलिए फिर आज बर्तन धोने वाले साबुन से जुड़े कुछ हैक्स जानते हैं।


कपड़ों से ग्रीस के दाग छुड़ाना होगा आसान
अगर आप अपने किसी कपड़े से ग्रीस के दाग छुड़ाना चाहते हैं तो आप इसके लिए बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले बर्तन धोने वाले साबुन को कपड़े की दाग वाली जगह पर अच्छे से रगड़कर कम से कम 10-15 मिनट के लिए छोड़ दें। इसके बाद कपड़े को हल्के गुनगुने पानी से साफ करके धूप में सुखा दें। अगर दाग रह जाए तो इस प्रक्रिया को दो से तीन बार दोहराएं।


फर्श को चमकाने में है कारगर

अगर आप अपने घर के फर्श को नैचुरल तरीके से साफ करना चाहते हैं तो इसके लिए आप बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले बर्तन धोने वाले साबुन को हल्के गर्म पानी में मिलाकर एक घोल तैयार कर लें। इसके बाद एक छोटी बाल्टी में थोड़ा साबुन का घोल, गर्म पानी, नींबू का रस और तीन चम्मच सिरका डालकर अच्छे से मिलाएं। अब इस मिश्रण का पूरे घर में पोंछा लगाएं।


बतौर ज्वेलरी क्लीनर करें इस्तेमाल

अगर आपकी ज्वेलरी की चमक फीकी पड़ गई है या आपकी ज्वेलरी बहुत गंदी लगने लगी है तो आप इसके लिए बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल कर सकते हैं। बस इसके लिए आपको अपनी ज्वेलरी पर थोड़ा सा बर्तन धोने वाला साबुन लगाकर पुराने टूथब्रश से हल्के हाथों से रगडऩा है। इसके बाद साफ कपड़े से उसे पोंछ लें। ऐसा करने के बाद आपकी ज्वेलरी साफ होने के साथ-साथ चमक भी उठेगी।


स्टीकर को आसानी से निकालें
अगर किसी नए बर्तन या किसी अन्य चीज पर लगे स्टीकर को निकालना काफी मुश्किल हो रहा है तो आप इस काम को आसान बनाने के लिए बर्तन धोने वाले साबुन का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले स्टीकर वाली जगह पर थोड़ा बर्तन धोने वाला साबुन लगाकर कुछ मिनट के लिए छोड़ दें। ऐसा करने से स्टीकर्स की पकड़ कमजोर हो जाएगी, फिर आप चुटकियों में इस स्टीकर को निकाल सकेंगे।
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क्या आपके शरीर में हो रही है ये समस्या, तो मखाना खाने से करे परहेज, वरना बढ़ सकती है आपकी मुसीबत

क्या आपके शरीर में हो रही है ये समस्या, तो मखाना खाने से करे परहेज, वरना बढ़ सकती है आपकी मुसीबत

जब भी ड्राई फ्रूट्स की बात आती है तो काजू, बादाम, किशमिश के साथ-साथ मखाने का नाम भी जरूर आता है. मखाने के सेवन से सेहत की कई समस्याओं को दूर किया जा सकता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि सेहत से जुड़ी कुछ ऐसी भी समस्याएं हैं जिनके होने पर यदि मखाने का सेवन किया जाए तो सेहत को और नुकसान पहुंच सकता है. आज का हमारा लेख उन्हीं समस्याओं पर है. आज हम आपको अपने इस लेख के माध्यम से बताएंगे कि किन लोगों को मखाने का सेवन नहीं करना चाहिए.

ये लोग ना करें मखाने का सेवन
1.   यदि आपकी किडनी में पथरी है तो उस दौरान मखाने का सेवन नहीं करना चाहिए. बता दें कि मखानों के अंदर कैल्शियम भरपूर मात्रा में पाया जाता है. ऐसे में यदि आप किडनी स्टोन के दौरान मखाने का सेवन करते हैं तो स्टोन का साइज बढ़ सकता है और समस्या गंभीर हो सकती है.

2.   यदि आपको गैस की समस्या रहती है तब भी मखाने का सेवन नहीं करना चाहिए. बता दें कि मखाने के अंदर प्रोटीन और फाइबर दोनों भरपूर मात्रा में मौजूद होते हैं. ऐसे में यदि मखाने का सेवन किया जाए तो इसे गैस की समस्या और बढ़ सकती है. साथ ही व्यक्ति को पेट की अन्य समस्याओं का सामना भी करना पड़ सकता है.

3.   यदि आपको दस्त और डायरिया की समस्या है तब भी मखाने का सेवन नहीं करना चाहिए. जैसा कि हमने पहले भी बताया मखाने के अंदर फाइबर मौजूद होता है. ऐसे में इसके सेवन से दस्त और डायरिया होने पर समस्या गंभीर हो सकती है.

4.   जैसा कि हमें पहले भी बताया किडनी स्टोन के दौरान मखाने का सेवन नहीं करना चाहिए. इससे अलग यदि आपको किडनी से संबंधित अन्य समस्याएं भी हैं तब भी मखाने का सेवन करने से पहले एक बार एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.

अपने हेयर केयर रूटीन में शामिल करें केला, मिलेंगे यहाँ अनगिनत फायदे...

अपने हेयर केयर रूटीन में शामिल करें केला, मिलेंगे यहाँ अनगिनत फायदे...

 अमूमन लोग बालों की समस्याओं का कारण केमिकल्स युक्त हेयर प्रोडक्ट्स को मानते हैं, लेकिन इनकी वजह बालों को पर्याप्त पोषण न मिलना भी हो सकता है। खैर, वजह चाहें जो भी हो आप चाहें तो बालों की समस्याओं से राहत पाने और हेयर केयर प्रोडक्ट्स के विकल्प के तौर पर केले का इस्तेमाल कर सकते हैं। आइए जानते हैं कि आप किन-किन तरीकों से केले को अपने हेयर केयर रूटीन का हिस्सा बना सकते हैं।


बतौर कंडीशनर करें इस्तेमाल
आप केले का इस्तेमाल कंडीशनर के तौर पर कर सकते हैं। इसके लिए पहले एक कटोरे में एक केले को मैश करें, फिर इसमें एक बड़ी चम्मच शहद और दो बड़ी चम्मच जैतून का तेल मिलाएं। अब इस मिश्रण को सिर पर लगाएं और शॉवर कैप पहन लें, फिर इसके आधे घंटे बाद सिर को गुनगुने पानी से धो लें। इसके बाद जब यह मिश्रण बालों से पूरी तरह निकल जाए तो उसको माइल्ड शैंपू से धो लें।


चमकदार और मुलायम बाल पाने के लिए केले से करें हेयर स्पा

इसके लिए सबसे पहले एक पके केले को ब्लेंड कर लें, फिर केले के पेस्ट को एक कटोरी में दो बड़ी चम्मच जैतून के तेल के साथ मिलाएं। इसके बाद बालों को भाप देने के लिए एक बड़े से बर्तन में पानी गर्म कर लें और तौलिया ढककर 10 मिनट तक भाप लें, फिर केले और जैतून का मिश्रण अपने सिर पर लगाएं। 30 मिनट के बाद अपने सिर को माइल्ड शैंपू और ठंडे पानी से धो लें।


दोमुंहे बालों से राहत पाने के लिए केले का हेयर मास्क बनाएं

अमूमन लोग दोमुंहे बालों से राहत पाने के लिए हेयरकट करवा लेते हैं, लेकिन आप चाहें तो केले के हेयर मास्क से भी इस समस्या से राहत पा सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले एक कटोरी में एक मैश केला, तीन-चार चम्मच दही, दो चम्मच मुल्तानी मिट्टी का पाउडर और इतना पानी मिलाएं कि इसका पेस्ट बन जाएं। अब इस पेस्ट को अपने बालों में लगाएं और 30 मिनट के बाद सिर को माइल्ड शैंपू से साफ कर लें।


बालों को पोषित कर सकता है यह हेयर मास्क

पर्याप्त पोषण न मिलने के कारण बाल खराब होने लगते हैं, इसलिए इन्हें पोषित करना महत्वपूर्ण है और केला आपकी इसमें भी मदद कर सकता है। इसके लिए सबसे पहले एक कटोरी में पके पपीते का एक चौथाई भाग (पिसा हुआ), एक पका केला और दो चम्मच शहद मिलाएं, फिर इस मिश्रण को सिर पर लगाएं और 15-20 मिनट के लिए सिर को शावर कैप से ढकें। इसके बाद सिर को पहले गुनगुने पानी से धोएं, फिर शैंपू से धोएं।

बच्चों को रोजाना कुछ मिनट जरूर करवाएं स्विमिंग, मिलेंगे अनगिनत लाभ..

बच्चों को रोजाना कुछ मिनट जरूर करवाएं स्विमिंग, मिलेंगे अनगिनत लाभ..

स्विमिंग एक बेहतरीन एरोबिक एक्सरसाइज है, जिससे बच्चों के पूरे शरीर का एक साथ व्यायाम हो सकता है। अच्छी बात तो यह है कि गर्मियां बच्चों को स्विमिंग सिखाने का सबसे अच्छा समय है क्योंकि पानी आपके बच्चे को गर्मी से कुछ राहत देगा। वहीं, पानी में खेलते-खेलते उन्हें कई तरह के स्वास्थ्य लाभ भी मिल सकते हैं। आइए जानते हैं कि स्विमिंग करने से बच्चों को क्या-क्या फायदे मिल सकते हैं।


अगर आप अपने बच्चों को स्विमिंग सिखाते हैं तो इससे उनका आत्मविश्वास बढ़ाने में काफी मदद मिल सकती है। स्विमिंग से न सिर्फ बच्चे पानी में खुद को नियंत्रित करना सीख जाते हैं बल्कि अज्ञात चीजों का डर भी उनके मन से धीरे-धीरे दूर होने लगता है। इसलिए अपने बच्चों को रोजाना कुछ मिनट स्विमिंग जरूर करवाएं और बेहतर होगा कि आप इसके लिए एक अनुभवी ट्रेनर रखें ताकि आपके बच्चे सुरक्षित और सुरक्षित तरीके से स्विमिंग सीख जाएं।


स्क्रीन से दूर करने में है कारगर
अगर आज के बच्चों की बात करें तो उनका बचपन सिर्फ आधुनिक गैजेट्स तक ही सिमट कर रह गया है, जिसका नकारात्मक प्रभाव सीधा उनकी सेहत पर पड़ता है। ऐसे में अगर आप अपने बच्चों का स्क्रीन टाइम कम करवाना चाहते हैं तो भी इसके लिए स्विमिंग को चुन सकते हैं। दरअसल, बच्चों को स्विमिंग क्लास में ले जाने से उन्हें स्क्रीन टाइम से एक अच्छा ब्रेक मिलेगा और उनकी आंखों को थोड़ा आराम देगा।
बच्चों को रचनात्मक और सामाजिक बनाने में मिलती है मदद


स्विमिंग की मदद से बच्चों को रचनात्मक और सामाजिक बनाने में भी काफी मदद मिल सकती है। दरअसल, स्विमिंग में कई तरह की टेक्निक होती हैं। उदाहरण के लिए फ्रीस्टाइल स्विमिंग करने से बच्चों को कल्पनाशील बनाने में मदद मिलती है। वहीं, स्विमिंग से बच्चे अधिक सामाजिक भी हो सकते हैं क्योंकि इसके हर एक सत्र में कई अन्य बच्चे शामिल होते हैं और वे आपस बातचीत कर सकते हैं और नए दोस्त बना सकते हैं।


शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए भी है बेहतर
स्विमिंग करने से बच्चों के शरीर में रक्त का संचार बेहतर होता है, जिससे उनके शारीरिक के साथ-साथ मानसिक रूप पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ता है। स्विमिंग करने से बच्चों का मूड भी अच्छा रहता है क्योंकि इससे मूड को ठीक करने वाला होर्मोन एडर्निल शरीर के द्वारा अच्छे से रिलीज होते हैं, जिससे बच्चे हमेशा खुश, तनाव और चिंता से मुक्त रह पाते हैं। इसलिए नियमित तौर पर बच्चों को रोजाना कुछ मिनट स्विमिंग जरूर करवाएं।

 

बड़ी खबर : भारत में कल से लगेगी 18+ आबादी को वैक्सीन का बूस्टर डोज, वैक्सीन के रेट में हुई कमी, ये होंगे नए रेट

बड़ी खबर : भारत में कल से लगेगी 18+ आबादी को वैक्सीन का बूस्टर डोज, वैक्सीन के रेट में हुई कमी, ये होंगे नए रेट

नई दिल्ली | कोरोना वायरस के नए वेरिएंट से बचाव के लिए 10 अप्रैल से देशभर में सभी वयस्कों को वैक्सीन का बूस्टर डोज लगने लगेगा. इससे पहले देश के दो बड़े वैक्सीन निर्माता सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और भारत बायोटेक ने कोविशील्ड और कोवैक्सीन की कीमतों में 50 फीसदी से ज्यादा की कटौती कर दी है. अब ये दोनों वैक्सीन प्राइवेट वैक्सीनेशन सेंटर्स पर सिर्फ 225 रुपए में उपलब्ध होगी. इनकी कीमतों में कटौती की जानकारी दोनों कंपनीज के प्रमुखों ने ट्विटर पर दी.
कोविशील्ड वैक्सीन 600 रुपए और कोवैक्सीन 1200 प्रति डोज के बजाय अब 225 रुपए में मिलेगी. सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के सीईओ अदर पूनावाला ने ट्वीट करते हुए कहा कि, हमें यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि केंद्र सरकार के साथ चर्चा के बाद SII ने निजी अस्पतालों के लिए COVISHIELD वैक्सीन की कीमत 600 रुपये से घटाकर 225 रुपये प्रति खुराक करने का फैसला किया है. हम एक बार फिर केंद्र की सराहना करते हैं कि उन्होंने सभी वयस्कों को प्रिकॉशन डोज दिए जाने का फैसला लिया.

वहीं भारत बायोटेक की ज्वाइंट मैनेजिंग डायरेक्टर, सुचित्रा इल्ला ने भी ट्वीट करते हुए कहा कि, हम सभी वयस्कों के लिए प्रिकॉशन डोज उपलब्ध कराने के निर्णय का स्वागत करते हैं. केंद्र सरकार से परामर्श के बाद हमने निजी अस्पतालों के लिए COVAXIN की कीमत ₹ 1200 से ₹ ​​225 प्रति डोज करने का निर्णय लिया है.

बता दें कि 18+ आयु वर्ग वाले सभी नागरिक 10 अप्रैल से कोरोना वैक्सीन का बूस्टर डोज लगवा सकेंगे. इसके लिए सभी प्राइवेट वैक्सीनेशन सेंटर्स पर प्रिकॉशन डोज उपलब्ध होंगे. वहीं पहले और दूसरे डोज के लिए सरकारी टीकाकरण सरकारी टीकाकरण केंद्रों पर मुफ्त वैक्सीनेशन अभियान जारी रहेगा.

इसके अलावा सरकारी केंद्रों पर हेल्थ वर्कर्स, फ्रंटलाइन वर्कर्स और 60 वर्ष से अधिक आयु वाले वरिष्ठ नागरिकों को निःशुल्क बूस्टर डोज देना जारी रहेगा. सरकार ने कहा कि इसमें तेजी लाई जाएगी.

सब्जी में हुए ज्यादा नमक की परेशानी को इन 5 तरीकों से करें दूर

सब्जी में हुए ज्यादा नमक की परेशानी को इन 5 तरीकों से करें दूर

नमक भोजन का स्वाद बढ़ाने क काम करता हैं। सब्जी ने नमक कम हो तो इसका स्वाद फीका लगने लगता हैं। हांलाकि नमक ऊपर से भी डाला जा सकता हैं और स्वाद को संतुलित किया जा सकता हैं। लेकिन परेशानी तब उत्पन्न होती हैं जब सब्जी में नामाक ज्यादा हो जाता हैं जिसे खाने में भी परेशानी होती हैं। आपके साथ भी ऐसा कई बार हुआ होगा कि अनजाने में सब्जी में नमक ज्यादा हो गया हो। ऐसे में आज हम आपके लिए कुछ ऐसे तरीके लेकर आए हैं जिनकी मदद से सब्जी में पड़े ज्यादा नमक को कम किया जा सकता हैं। तो आइये जानते हैं इनके बारे में।


आटा करें इस्तेमाल
सब्ज़ी में नमक ज्यादा होने पर इसको कम करने के लिए आप गूंथे हुए आटे का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए आप आटे की गोलियां बना कर सब्ज़ी में डाल दें और इनको कुछ देर सब्ज़ी में पड़ा रहने दें। फिर इनको सब्ज़ी से निकाल कर बाहर कर दें। इससे सब्ज़ी में नमक कम हो जायेगा। ये तरीका ग्रेवी वाली सब्ज़ी और दाल का नमक कम करने के काम आएगा।


ब्रेड इस्तेमाल करें
सब्ज़ी और दाल में नमक ज्यादा हो जाने पर इसको कम करने के लिए आप ब्रेड का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। इसके लिए आप ब्रेड के एक-दो पीस सब्ज़ी और दाल में डालकर इनको एक मिनट के लिए ऐसे ही छोड़ दें और फिर इनको हटा दें। इससे नमक भी कम हो जायेगा और स्वाद भी बढ़ जायेगा।


भुना बेसन इस्तेमाल करें
सब्ज़ी में नमक ज्यादा होने पर आप भुना हुआ बेसन भी इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए आप बेसन को भून कर सब्जी या दाल में मिक्स कर दें। इससे सब्ज़ी में नमक कम हो जायेगा। ये तरीका आप ग्रेवी और सूखी दोनों तरह की सब्जियों में इस्तेमाल कर सकते हैं।


नींबू इस्तेमाल करें

नमक कम करने के लिए आप नींबू की मदद भी ले सकते हैं। इसके लिए आप नींबू का रस निकाल कर सब्ज़ी या दाल में मिला दें। इससे नमक भी कम हो जायेगा साथ ही स्वाद भी खराब नहीं होगा।


उबला आलू इस्तेमाल करें
उबले हुए आलू को भी आप सब्ज़ी या दाल में नमक कम करने के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए आप चाहें तो उबले आलू को छीलकर दो-तीन बड़े टुकड़ों में तोड़कर सब्ज़ी और दाल में डाल दें। पांच मिनट तक इनको ऐसे ही पड़ा रहने दें फिर निकाल कर अलग कर दें। अगर आप चाहें तो आलू को मैश करके भी सब्ज़ी में मिक्स कर सकते हैं। इससे नमक भी कम हो जायेगा और गाढ़ापन भी आ जायेगा।

अपने बेडरूम को नया लुक देने के लिए अपनाएं ये तरीके, लगेगा बहुत ही खूबसूरत

अपने बेडरूम को नया लुक देने के लिए अपनाएं ये तरीके, लगेगा बहुत ही खूबसूरत

जब भी बात बेडरूम को नया लुक देने की आती है तो अममून लोगों का सबसे पहला ध्यान खर्चे पर जाता है और इस कारण कई लोग बेडरूम को नया लुक देने का ही टाल देते हैं। हालांकि, अगर आप क्रिएटिव हैं तो आप कम बजट में ही अपने बेडरूम को शानदार लुक दे सकते हैं। आइए आज हम आपको कुछ ऐसी टिप्स देते हैं, जिन्हें अपनाकर आप अपने बेडरूम को बहुत आसानी से नया लुक दे सकते हैं।


पेंट करें
पेंट आपके बेडरूम को नया लुक देने का सबसे आसान तरीका है। इसके लिए आपको न तो पेंटर्स की जरूरत है और न ही महंगे पेंट की। बस आप कुछ डीआईवाई ट्रिक्स आजमाएं और अपने बेडरूम की सिर्फ एक दीवार को नया लुक दें। बेहतर होगा कि आप इसके लिए पेस्टल रंग के पेंट चुनें क्योंकि वे आजकल ट्रेंड में हैं। इसके अतिरिक्त, आप अपने पुराने फर्नीचर के रंग को भी बदल सकते हैं।


लाइट्स करेंगी कमाल

आप चाहें तो लाइटिंग व्यवस्था से भी अपने बेडरूम को नया लुक दे सकते हैं। हालांकि, ध्यान रखें कि बेडरूम में ऐसी लाइट्स का इस्तेमाल अच्छा रहता है, जो बहुत ज्यादा चटख न हो और इतनी हल्की भी न हो कि देखने में समस्या हो। इसके लिए आप स्टेटमेंट येलो एलईडी लाइट्स को चुन सकते हैं क्योंकि ये आपके बेडरूम को रॉयल टच देगीं। इसके अतिरिक्त, आप लेयर्ड लाइटिंग का विकल्प भी चुन सकते हैं।


रग खरीदें

रग यानी एक छोटा कालीन, जिसके जरिए भी आप अपने बेडरूम को नया लुक दे सकते हैं। यह आपके बेडरूम को शांत और आरामदायक बना सकता है। खासकर, अगर आपके बेडरूम का फर्श लकड़ी का है तो रग इसे खरोंच से बचाएगा। हालांकि, ध्यान रखें कि आजकल मार्केट में कई डिजाइन, रंग और साइज में रग मिलते हैं। ऐसे में बेहतर होगा कि आप अपने बेडरूम के साइज के अनुसार और गहरे रंग के रग को चुनें।


अन्य टिप्स

ये टिप्स भी आ सकती हैं आपके काम
आप अगर अपने बेडरूम को नया लुक देना चाहते हैं तो इसमें से बहुत पुरानी चीजों को घर से बाहर कर दें और पुराने फ्रेम्स को भी दीवारों से हटा दें। इसके अतिरिक्त, अगर आप अपने बेडरूम को खुला और खूबसूरत लुक देना चाहते हैं तो आप संतुलित मात्रा में ही फर्नीचर का इस्तेमाल करें। इसके साथ ही आप अपने बेडरूम में कुछ इंडोर प्लांट्स भी रख सकते हैं।

 रसोई की दीवारों पर जमी चिकनाई को इन आसान तरीकों से करें साफ़

रसोई की दीवारों पर जमी चिकनाई को इन आसान तरीकों से करें साफ़

घर की रसोई में खाना पकाया जाता हैं और इस दौरान धुआं और तेल के छींटे तो उठते ही हैं। धुएं को निकालने के लिए किचन में एग्जॉस्ट फैन और चिमनी का इंतजाम किया जाता हैं। लेकिन देखा जाता हैं कि इसके बावजूद भी तेल के छींटे उठते हैं और ये दीवारों पर जमने लगते हैं जिसकी वजह से दीवारों पर चिकनाई जमा हो जाती हैं। यह चिकनाई जब बढ़ती जाती हैं तो इसकी सफाई करना बहुत मुश्किल हो जाता हैं। ऐसे में आज हम आपके लिए कुछ ऐसे उपाय लेकर आए हैं जिनकी मदद से आपके रसोई की दीवारों पर जमी चिकनाई को आसानी से दूर किया जा सकता हैं।

तो आइये जानते हैं इन उपायों के बारे में...


बेकिंग सोडा
बेकिंग सोडा कोई भी जिद्दी दाग निकालने के लिए सबसे आसान उपाय है। किचन में से तेल के दाग हटाने के लिए एक कप गर्म पानी लें और उसमें एक चम्मच बेकिंग सोडा डालें। फिर किसी कपड़े या स्पॉन्ज लेकर दाग वाली जगह पर लगाएं इससे दाग आसानी से निकल जाएगा।


कार्न-स्टार्च
पानी में कार्नस्टार्च मिलाकर पेस्ट तैयार करे। इस पेस्ट को तेल लगी दीवार पर लगाए और थोड़ी देर तक ऐसे ही रहने दे। इसके बाद गीले कपड़े से दीवार को पोंछते रहे, जबतक साफ न हो जाए।


नमक
दाग को साफ करने के लिए नमक भी सबसे आसान तरीका है जिससे किसी भी पुराने दाग को साफ करने के लिए अपनाया जाा सकता है। दाग वाली जगह पर नमक लगा दें । थोड़ी देर के बाद उस जगह पर विनेगर स्प्रे लगा दें । कुछ देर के बाद कपड़े से साफ कर दें । दाग आसनी से साफ हो जाएगा।\


विनेगर
हर घर के किचन में विनेगर बहुत ही आसानी से मिलने वाला लिक्विड है। इसका इस्तेमाल बेहद आसान है। एक बर्तन में विनेगर लें। एक साफ कपड़ा या फिर एक स्पॉन्ज उसमें अच्छे से डूबा कर निचोड़ लें। अब इस कपड़े या स्पॉन्ज से दाग लगी दीवार, स्विच बोर्ड आदि साफ करें। किचन की दीवार पर लगे दाग आसानी से छूट जाएंगे। अब एक साफ कपड़े से दीवार पोंछ दें। विनेगर आपके घर की दीवार में लगे बैक्टीरिया को नष्ट कर सकता है।


नींबू का रस और सोडे का पानी
किचन में लगे जिद्दी दागों को साफ करने के लिए नींबू काटकर चिकनाई वाली जगह पर रगड़ के साफ करें। इसके बाद सोडे वाले पानी में कपड़ा डूबा कर उस जगह को फिर से साफ करें और फिर पानी से धो दें। दाग पूरी तरह से हट जाएंगे।


मैचिंग वॉल पेंट

दीवार पर दाग लगे है उस दीवार को आप मैचिंग वॉल पेंट लगाकर दाग धब्बे छिपा सकते है इसके लिए आपको बहुत ज्यादा मेहनत भी नहीं करनी पड़ेगी और आसानी से आप दीवारों पर लगे दागों से छुटकारा पा सकते है।
 

 बर्तनों में रह जाते है तेल या जलने के दाग, इस तरह से करें इनकी सफाई

बर्तनों में रह जाते है तेल या जलने के दाग, इस तरह से करें इनकी सफाई

रसोई में खाना बनाने और परोसने के लिए कई प्रकार के बर्तनों का इस्तेमाल किया जाता हैं। देखा जाता हैं कि खाना खाने के बाद हर प्रकार के बर्तनों में सफाई को लेकर समस्या आती हैं। कुछ बर्तन हाथोंहाथ चमक जाते हैं तो कुछ पर तेल या जलने के दाग रह जाते हैं और वे पीले या जकाले दिखने लगते हैं। ये दाग बर्तनों में से जल्दी साफ नहीं होते हैं। ये दाग दिखने में बिल्कुल भी अच्छे नहीं लगते हैं। ऐसे में आज इस कड़ी में हम आपके लिए कुछ टिप्स लेकर आए हैं जिनकी मदद से बर्तनों की सफाई को आसान बनाया जा सकता हैं और इन दागों को दूर किया जा सकता हैं। तो आइये जानते हैं किस तरह से करें बर्तनों की सफाई...


स्टील के बर्तन

सामान्य तौर पर किचन में स्टील के बर्तन ही हर घर में यूज़ किए जाते हैं। स्टील के बर्तनों में तेल के दाग तो नहीं लगते हैं। लेकिन इन पर पानी के दाग तुरंत लग जाते हैं और ये छूटते नहीं है। इन पानी के दागों को छुड़ाने के लिए प्याज का रस और सिरका का इस्तेमाल करें। प्याज के रस और सिरके को एक बोतल में बराबर मात्रा में मिलाकर रखें। अब इसमें थोड़ा लिक्विड शोप मिला लें। अब इस मिश्रण से बर्तनों को धोएं। बर्तन चमकने लगेंगे।


प्लास्टिक के बर्तन

इन दिनों लोगों को प्लास्टिक के बर्तन काफी आकर्षित कर रहे हैं। बच्चों से लेकर बड़े तक प्लास्टिक के टिफिन, बॉटल जैसे कई बर्तन इस्तेमाल कर रहे हैं। प्लास्टिक के बर्तनों में खाने की महक आने लगती है जो धोने पर भी नहीं जाती तो कई बार ये पीले पड़ जाते है और इनमे दाग भी लग जाते हैं। इसके लिए आप एक बाल्टी गर्म पानी में तीन चम्मच बेकिंग सोडा डालकर अच्छी तरह से मिला लें। अब अपने प्लास्टिक के बर्तनों को इसमें पूरी तरह डुबो कर कुछ देर रख दे। आधे घंटे बाद इन बर्तनों को स्क्रब से रगड़कर साफ पानी से धो लें। या फिर आप पानी में सिरके को मिलाएं, अब इसे दाग-धब्बों वाले बर्तन पर डाल कर कुछ देर के लिए छोड़ दें। थोड़ी देर बाद स्क्रब से रगड़कर साफ करें। ऐसा करने से आपके बर्तन से बदबू भी चली जाएगी और साथ ही वे चमकने भी लगेगे।


पीतल के बर्तन
पीतल के बर्तनों में भी पानी के दाग तुरंत लग जाते हैं। इन दागों को छुड़ाने के लिए नींबू को आधा काट लें व इस पर नमक लगाकर बर्तनों पर रगड़ें। इससे पीतल के बर्तन चमकने लगेंगे। पीतल के बर्तनों में घी के दाग लग जाते हैं। इन दाग को पाउडर या फिर पानी से धोने के बजाए राख से साफ करें। दाग तुरंत साफ हो जाएंगे।


एल्युमीनियम के बर्तन
चाय या पानी गर्म करने के लिए अधिकतर लोगों के किचन में एल्युमीनियम के बर्तनों (सॉसपेन) का इस्तेमाल होता है। कुछ सालों के बाद लगातार चाय बनने के कारण ये बर्तन काले पडऩे लगते हैं। इन काले दागों को छुड़ाने के लिए धोने वाले पाउडर में थोड़ा-सा नमक मिलाकर इस्तेमाल करें। आप देखेंगे कि आपके बर्तन नए हो गए हैं।


बड़े बर्तन
बड़े बर्तन जैसे प्रेशर कुकर में पानी उबलने के काले दाग लग जाते हैं। इन दागों पर कोई ध्यान भी नहीं देता क्योंकि इसमें मेहमानों को खाना सर्व नहीं किया जाता। लेकिन किचन की खूबसूरती तभी बढ़ती है जब सभी बर्तन साफ हों और साफ बर्तनों में प्रेशर कुकर भी शामिल होता है। इसलिए प्रेशर कुकर को भी जरूर साफ करें और प्रेशर कुकर में लगे काले दाग को छुड़ाने के लिए कूकर में पानी, 1 चम्मच वॉशिंग पाउडर व आधा नींबू डालकर उबाल लें। बाद में बर्तन साफ करने की जाली से हल्का रगड़कर साफ करें। कूकर एकदम नए जैसा चमकने लगेगा। या फिर किचन के बड़े बर्तनों को साफ करने के लिए एक बड़ा चम्मच बेकिंग सोडा, 1 लीटर पानी और 4-5 बड़े टुकड़े फॉइल पेपर को उबालें फिर इसमें पुराने बर्तन डालें। कुछ देर के बाद बर्तन अपने आप साफ हो जाएंगे।

गर्मियों के मौसम में शॉवर से नहाने का है अलग ही मजा, इन ट्रिक्स की मदद से करें इसकी सफाई...

गर्मियों के मौसम में शॉवर से नहाने का है अलग ही मजा, इन ट्रिक्स की मदद से करें इसकी सफाई...

गर्मियों का मौसम आ चुका हैं जिसमें सभी सबसे ज्यादा आनंद लेनेते हैं नहाने का जो शरीर को ठंडक प्रदान करता हैं। इसमें भी कई लोग शॉवर से नहाने का आनंद लेना पसंद करते हैं। ठंड के दिनों में तो कोई शॉवर का इस्तेमाल नहीं करता हैं जिसकी वजह से बहुत दिन काम ना आने की वजह से इसमें पानी जमने की समस्या पैदा हो जाती हैं और शॉवर से पानी धीरे आने लगता हैं जिसकी वजह से नहाने में वह आनंद नहीं आ पाता हैं। शॉवर हेड कई कारणों से ब्लॉक हो सकता है लेकिन मिनरल और जंग का लगना मुख्य कारण हैं जो ब्लॉकेज का कारण बनते हैं। ऐसे में आज इस कड़ी में हम आपके लिए कुछ ऐसे घरेलू नुस्खें लेकर आए हैं जिनकी मदद से शॉवर की सफाई की जा सकती हैं और पानी के प्रेशर को बढ़ाया जा सकता हैं। तो आइये जानते हैं इन नुस्खों के बारे में...


बेकिंग सोडा और सफेद सिरका
शावर की सफाई करने की तरकीब आपके किचन में ही मौजूद है। जी हां, बेकिंग सोडा और सफेद सिरका किचन के ही नहीं बल्कि बाथरूम के भी बेस्ट क्लीनिंग एजेंट्स होते हैं। इनकी मदद से आप शावर को आसानी से साफ कर सकते हैं। इसके अलावा सफाई के लिए एक मोटा रबर बैंड और पॉलीथिन भी ले लें। सबसे पहले बेकिंग सोडा में सिरका डालकर घोल तैयार कर लें। अब इस सॉल्यूशन को पॉलीथिन में डालकर शावर के छेद पर कसकर बांध दें। इसे आधे घंटे के लिए छोड़ दें। आधे घंटे में ये सॉल्यूशन शावर के छेद में जमा गंदगी को साफ कर देगा।


हार्पिक स्प्रे का इस्तेमाल
अगर शावर में खारा पानी जम गया है तो सबसे पहले नीचे से पानी की सप्लाई बंद करें और इसमें हार्पिक स्प्रे अंदर डालने की कोशिश करें। अगर आप शावर का कैप निकाल पाएं तो उससे स्प्रे डालें अगर नहीं तो ब्रश और कपड़े की मदद इसे शावर के अंदर डालने की कोशिश करें। ध्यान रहे कि नॉजल स्प्रे वाली जाली को निकाल दें। क्योंकि अगर ये लगी रहेगी तो ये मिक्सचर किसी भी तरह से शावर के अंदर नहीं जा पाएगा। आपको इसे 20 मिनट के लिए छोडऩा है और उसके बाद गुनगुने पानी से साफ करना है। ध्यान रहे जंग के समय आप नॉर्मल पानी इस्तेमाल कर सकते हैं, लेकिन खारे पानी को साफ करने के लिए गुनगुना पानी लें ताकि इसमें केमिकल रिएक्शन हो और नल साफ हो।


ईनो होगा मददगार

कई बार घर में बेकिंग सोडा या सिरका मौजूद नहीं रहता है। ऐसे में आप इनकी जगह ईनो का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। एक पैकेट ईनो में नींबू का रस और थोड़ा सा पानी मिलाकर घोल बना लें। इसे भी पॉलीथिन में डालकर शावर हेड पर बांध दें और आधे घंटे बाद खोल दें।


ब्रश से करें स्क्रब
पॉलीथिन खोलने के बाद शावर हेड को ब्रश से स्क्रब कर दें। अगर गंदगी काफी ज्यादा है, तो पॉलीथिन को थोड़े और समय के लिए बांध दें। बाद में ब्रश से रगडऩे के बाद शावर के छेद खुल जाएंगे और पानी भी अब फुल प्रेशर में आने लगेगा।
 

अचानक होने वाले दांत दर्द में आराम दिलाएंगे ये 10 घरेलू नुस्खें

अचानक होने वाले दांत दर्द में आराम दिलाएंगे ये 10 घरेलू नुस्खें

वर्तमान समय का खानपान ऐसा हो गया हैं कि आप बिना किसी शारीरिक परेशानी के रह ही नहीं सकते हैं। आए दिन कई विभिन्न तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ता हैं जिसमें से एक हैं दांत दर्द। आज के समय में दांत दर्द एक आम समस्या बन गई है। ये कभी-कभी असहनीय हो जाती है। दांतों में अचानक से दर्द होने के कई वजह हो सकती हैं जैसे दांत में कीड़े या दांतों में सडऩ, दांतों की सफाई ना रख पाने, कैल्शियम की कमी, बैक्टीरियल इंफेक्शन या फिर दांतों की जड़ों के कमजोर होने से भी होता है। देखा जाता हैं कि दांतों का यह दर्द उठते ही लोग पेन किलर लेने लग जाते हैं जों कि आपकी सेहत के लिए सही नहीं हैं। इसलिए आज इस कड़ी में हम आपके लिए कुछ ऐसे घरेलू उपाय लेकर आए हैं जिनकी मदद से अचानक होने वाले दांत दर्द में आराम पाया जा सकता हैं। तो आइये जानते हैं इन उपायों के बारे में...

खारे पानी का कुल्ला
ये दांत दर्द से छुटकारा पाने का सबसे कारगर और आसान तरीका है। आपको बस इतना करना है कि उबलते पानी में नमक डालें, इसे घुलने दें और फिर इस पानी से अपना मुंह कुल्ला करें। ये एक प्राकृतिक कीटाणुनाशक है और आपके मुंह से पार्टिकल्स को बाहर निकालता है।

अमरूद के पत्ते
यदि आपके घर में या आस-पास कहीं अमरूद का पेड़ है तो दांत में दर्द होने पर आप उस पेड़ से नए और साफ पत्ते तोड़ लें। इन पत्तों को धुलकर साफ करें और फिर धीरे-धीरे चबाएं। अमरूद के पत्ते चबाने से भी दांत का दर्द ठीक हो जाता है। क्योंकि अमरूद के ताजे पत्तों में ऐंटिबैक्टीरियल और ऐंटिइंफ्लामेट्री गुण पाए जाते हैं। इनसे दांद दर्द में राहत मिलती है और दांत की सूजन कम होती है।

ठंडा सेक
अपने दांत दर्द को ठीक करने के लिए एक और आसान उपाय सूजन वाले एरिया को बर्फ से कंप्रेस करना है। जहां आपको दर्द हो रहा हो वहां आइस पैक को दबाएं। आइस पैक उस एरिया को सुन्न कर देगा और दर्द को कम करेगा।

कच्ची प्याज
प्याज ऐंटिसेप्टिक और ऐंटिबैक्टीरियल गुणों से भरपूर होती है। दांत दर्द होने की स्थिति में आप प्याज को छीलकर उसे काट लें और उसका एक छोटा-सा टुकड़ा दांत के बीच रख लें। यदि आपको इस तरह मुंह में प्याज का पीस रखने में समस्या आ रही हो तो आप प्याज को कद्दूकस करके उसके रस में रुई को भिगोकर फोहा तैयार कर लें। अब इस फोहे को दांत पर रख लें। आपको आराम मिलेगा।

लौंग
दांत दर्द का इलाज करने का एक प्राचीन तरीका है लौंग। ये बेहद फायदेमंद होती है जिसे प्रभावित एरिया पर रगड़ा जा सकता है। आप लौंग के तेल को निकालकर प्रभावित जगह पर लगा सकते हैं, इससे आपको दर्द से निश्चित रूप से राहत मिलेगी।

हींग
हींग का इस्तेमाल खाने में स्वाद और खुशबू के लिए किया जाता है लेकिन ये कई तरह के घरेलू उपचार में भी फायदेमंद है। अगर आपके दांतों में दर्द है तो चुटकी भर हींग को नींबू के रस में मिलाकर इसे रूई से दांत पर लगाएं। इससे दर्द कम हो जाएगा।

बेकिंग सोडा लगाएं
बेकिंग सोडा में भी एंटीबैक्टीरियल, एंटीफंगल और एंटीसेप्टिक गुण होते हैं। गुनगुने पानी में बेकिंग सोडा डालकर उससे कुल्ला करें। इससे दांत का दर्द कम होता है। इसके अलावा आप गीली रूई में भी थोड़ा सा बेकिंग सोडा छिड़क कर इसे दर्द वाले दांत पर लगा सकते हैं।

हल्दी
हल्दी को एक नेचुरल एंटीबायोटिक माना जाता है। हल्दी, नमक और सरसों के तेल का पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को उस दांत पर लगाएं जिसमें दर्द हो रहा है। हल्दी का ये पेस्ट दांत दर्द में दवा का काम करता है।

लहसुन
लहसुन में नेचुरल एंटीबैक्टीरियल प्रोपर्टीज होते हैं जिनका इस्तेमाल दांतों के दर्द को दूर करने के लिए किया जा सकता है। आप लहसुन को कुचलकर प्रभावित जगह पर लगा सकते हैं या लहसुन के एक टुकड़े को चबा सकते हैं। ये दर्द से राहत देगा और सूजन को कम करेगा।

काली मिर्च
ज्यादा गरम या ठण्डे खाने की वजह से होने वाले दांत दर्द में काली मिर्च तुरंत आराम देता है। इसके लिए काली मिर्च पाउडर और नमक को बराबर मात्रा में मिलाएं। अब इसमें कुछ बूंद पानी की डालकर इसका पेस्ट बना लें। इस पेस्ट को दर्द वाली जगह पर लगाकर थोड़ी देर के लिए छोड़ दें। इससे दांत दर्द जल्दी ठीक हो जाता है।


 

क्या मास्क की अनिवार्यता अब देश में कर देनी चाहिए खत्म? जानिए विशेषज्ञों ने क्या कहा

क्या मास्क की अनिवार्यता अब देश में कर देनी चाहिए खत्म? जानिए विशेषज्ञों ने क्या कहा

कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में गिरावट के चलते देश के कुछ राज्यों में मास्क नहीं लगाने पर जुर्माना न लगाने का निर्णय लिया गया है लेकिन स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि इस प्रतिबंध को पूरी तरह हटाना जल्दबाजी वाला कदम होगा. उनका कहना है कि मास्क का प्रयोग करने से कोरोना वायरस के अलावा इन्फ्लुएंजा और स्वाइन फ्लू से भी बचा जा सकता है. महाराष्ट्र, दिल्ली और तेलंगाना की सरकारों ने हाल में सार्वजनिक स्थानों पर मास्क पहनने की अनिवार्यता में ढील देने का निर्णय लिया था. पिछले दो साल से लागू इस नियम के तहत मास्क नहीं लगाने पर दो हजार रुपये के जुर्माने का प्रावधान था. जाने माने विषाणु विज्ञानी टी जैकब जॉन ने कहा कि चूंकि भारत में महामारी खत्म हो गई है इसलिए सार्स सीओवी2 के प्रसार को रोकने के लिए मास्क की अब और आवश्यकता नहीं है.
मास्क पर प्रतिबंध अभी न हटाया जाए- विशेषज्ञ
टी जैकब ने आगे कहा कि मास्क लगाने की अनिवार्यता खत्म कर दी जानी चाहिए और लोगों को सार्वजनिक स्थलों पर स्वेछा से मास्क लगाने के लिए प्रोत्साहित किया जाना चाहिए ताकि टीबी, फ्लू और सांस की बीमारी फैलाने वाले अन्य सूक्ष्म जीवों के प्रसार को रोका जा सके. भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के विषाणु विज्ञान उन्नत अनुसंधान केंद्र के पूर्व निदेशक जॉन ने मीडिया से कहा कि मास्क लगाने की इस आदत से बीमारियां कम फैलेंगी. वर्तमान में हम किडनी प्रतिरोपण के मरीजों को मास्क लगाते देखते हैं. बस, ट्रेन, विमान आदि में सभी को इससे लाभ होगा. फरीदाबाद के फोर्टिस अस्पताल में डॉक्टर रवि शेखर झा ने कहा कि मास्क लगाने की अनिवार्यता जारी रहनी चाहिए और इस आदत को त्यागना उचित समय से पहले लिया गया फैसला होगा.
संक्रमण से बचने का सबसे अच्छा उपाय है मास्क
डॉक्टर रवि शेखर झा ने कहा कि घातक दूसरी लहर ने दुनियाभर में कई जिंदगियां ले ली थीं. यह ऐसा था जो विश्व ने पहले कभी नहीं देखा. लोग पहली लहर के बाद थोड़े लापरवाह हो गए थे और संभवतः इसके कारण मौतें ज्यादा हुईं. डॉ. झा ने कहा कि यह सही है कि अधिकतर भारतीयों को टीका लग चुका है लेकिन हमें यह ध्यान रखना चाहिए कि टीका हमें संक्रमण से नहीं बचाता. संक्रमण मौत का कारण न भी हो तब भी वह आपको कई महीनों तक बीमार कर सकता है. उन्होंने कहा कि हम सभी कोविड के लंबे समय तक रहने वाले प्रभाव के बारे में जानते हैं. इसलिए यह सर्वोत्तम है कि संक्रमण से बचा जाए. अब तक विज्ञान ने यह साबित किया है कि संक्रमण से बचने का सबसे अच्छा उपाय मास्क है.
Source: ABP News
 

आ गया अब आम का सीजन , गर्मियों में हर रोज खाएं आम,  दूर होगी ये कई सारी समस्याएँ

आ गया अब आम का सीजन , गर्मियों में हर रोज खाएं आम, दूर होगी ये कई सारी समस्याएँ

आम खाने वाले लोगों की देश में कमी नहीं है। लोग गर्मियों का सीजन आते ही लोगों को आम का इंतजार होने लगता है कि कितनी जल्दी पके हुए सुंदर और मीठे आम खाने को मिले, आम का फल स्वाद के साथ सेहत के लिए भी बहुत फायदेमंद होता है। आम खाने से शरीर की कई समस्यायें दूर होती है तो गर्मियों में हर किसी को आम का सेवन करना चाहिए। 

आइये यहां जाने आम खाने से होने वाले फायदे :-

कैंसर से बचाव होता है- आम में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट कोलोन कैंसर, ल्यूकेमिया और प्रोस्टेट कैंसर से बचाव में फायदेमंद है इसमें क्यूर्सेटिन, एस्ट्रागालिन और फिसेटिन जैसे ऐसे कई तत्व होते हैं जो कैंसर से बचाव करने में मददगार होते हैं. 

वजन कम होता है- मोटापा कम करने के लिए भी आम एक अच्छा उपाय है आम की गुठली में मौजूद रेशे शरीर की अतिरिक्त चर्बी को कम करने में बहुत फायदेमंद होते हैं आम खाने के बाद भूख कम लगती है, जिससे ओवर ईटिंग का खतरा कम हो जाता है.

स्मरण शक्ति बढ़ती है- जिन लोगों को भूलने की बीमारी हो उन्हें आम का सेवन करना चाहिए इसमें पाया जाने वाला ग्लूटामिन एसिड नामक एक तत्व स्मरण शक्ति को बढ़ाने में उत्प्रेरक की तरह काम करता है. साथ ही इससे रक्त कोशिकाएं भी सक्रिय होती हैं इसीलिए गर्भवती महिलाओं को आम खाने की सलाह दी जाती है.

रोग-प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है- अगर आपकी प्रतिरोधक क्षमता कम है तो आम का सेवन करने से शरीर की रोग-प्रतिरोधक क्षमता में भी इजाफा होता है.

त्वचा अच्छी होती है- आम के गुदे का पैक लगाने या फिर उसे चेहरे पर मलने से चेहरे पर निखार आता है और विटामिन सी संक्रमण से भी बचाव करता है.

पाचन क्रिया ठीक होती है- आम में ऐसे कई एंजाइम्स होते हैं जो प्रोटीन को तोड़ने का काम करते हैं इससे भोजन जल्दी पच जाता है. साथ ही इसमें उपस्थित साइर्टिक एसिड, टरटैरिक एसिड शरीर के भीतर क्षारीय तत्वों को संतुलित बनाए रखता है.

 

अपने डेली डायट में शामिल करें सलाद, सेहत को होंगे ये जबरदस्त फायदे

अपने डेली डायट में शामिल करें सलाद, सेहत को होंगे ये जबरदस्त फायदे

आमतौर पर हम कभी खाने के साथ सलाद खाते हैं लेकिन रोजाना नहीं खा पाते। कई बार तो हफ्ते गुजर जाते हैं और हम सलाद नहीं खा पाते। लेकिन आप सलाद खाने के फायदे जान जाएंगे तो रोजाना सलाद खाएंगे।


*सलाद में एंजाइम्स होते हैं जो हाजमा ठीक करते हैं। खाने को पकाने से एंजाइम्स नष्ट हो जाते हैं क्योंकि 37 डिग्री पर कोई भी एंजाइम बच नहीं पाते। इसलिए फल और सलाद में ही ये एंजाइम्स बरकरार रहते हैं। ऐसे में हर मील के साथ सलाद जरूर खाएं। कम से कम सप्ताह में तीन बार सलाद जरूर खाएं।


*जैसे आप बॉडी की एक्सरसाइज करते हैं वैसे ही सलाद खाने से मसूड़े और दांतों की एक्सरसाइज होती हैं जिससे ये स्वस्थ रहते हैं। जो लोग बिल्कुल भी सलाद नहीं खाते हैं उनके गम्स बिल्कुल भी मजबूत नहीं होते हैं।


* सलाद में भरपूर मात्रा में फाइबर होता है। जब हम सलाद खाते हैं तो प्राकृतिक रूप से फाइबर खाते हैं जिससे शरीर में फाइबर की कमी नहीं होती।


* पाचन तंत्र के लिए भी सलाद बहुत अच्छा होता है।
-इसके अलावा वजन कम करना हो तो भी सलाद खाना चाहिए। यदि आप काफी समय से हेल्दी डायट प्लान कर रहे हैं तो खाने से पहले सलाद

खाएं इससे आप खुद ही फूड कम खाएंगे।
-जो लोग नॉनवेज खाते हैं उनके लिए सलाद बहुत फायदेमंद हैं। दरअसल, नॉनवेज में बिल्कुल भी फाइबर नहीं होता और साथ ही नॉनवेज से एसिडिटी होती हैं। ऐसे में नॉनवेज डायट को संतुलित करने के लिए भी सलाद खाना चाहिए।
* सलाद में कैल्शियम, मिनरल्स जैसी चीजें भी पाईं जाती हैं जो शरीर के लिए बहुत जरूरी हैं। रोजाना सलाद खाने से आप हेल्दी और फिट रहेंगे।
 

परीक्षाओं को देखते हुए बच्चों की खान-पान सामग्री में करें बदलाव, तरोताजा होगा दिमाग

परीक्षाओं को देखते हुए बच्चों की खान-पान सामग्री में करें बदलाव, तरोताजा होगा दिमाग

परीक्षाओं का समय आ गया है। आज से बोर्ड की परीक्षाएँ शुरू हो चुकी हैं। परीक्षाओं के कारण बच्चों का ध्यान अपने खान पान से हटकर सिर्फ परीक्षा को उत्तीर्ण करने की ओर चला जाता है। बच्चे पढ़ाई में इतने गुम हो जाते हैं कि खाने-पीने का ध्यान ही नहीं रहता, जिसका परिणाम कभी-कभी उन्हें परीक्षा के दौरान ही भुगतना पड़ जाता है। मन लगाकर ज्यादा देर तक पढ़ाई करने के लिए बच्चों के लिए एक अच्छी डाइट बेहद जरूरी है।
आज हम अपने पाठकों को बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए कुछ ऐसे आहार बताने जा रहे हैं जिनको उनकी डाइट में शामिल करने से न सिर्फ उनका दिमाग तेज होगा अपितु वे स्वस्थ रहते हुए अपनी परीक्षा दे सकेंगे।


हैवी नाश्ते से करें शुरूआत
दिन की शुरुआत भारी और स्वस्थ नाश्ते के साथ करें। आप बच्चों के नाश्ते में जई, मुसेली, उपमा, खिचड़ी, इडली और ग्लूकोज को शामिल कर सकते है, ये सभी कम ग्लाइसेमिक का विकल्प हैं।


दें दूध और बादाम, बाहर के खाने से मना
दूध पीना हमेशा से फायदेमंद रहा है। दूध में विटामिन कैल्शियम, मैग्निशियम और पोटैशियम की मात्रा पाई जाती है। यह सभी पोषक तत्व याद्दाश्त बढ़ाने में मदद करते हैं। तेज मेमोरी के लिए रात में बादाम भिगोकर रखें और रोजाना सुबह बादाम का सेवन करें। आप चाहें तो बादाम के साथ अंजीर भी भिगोकर रख सकते हैं। साथ ही, परीक्षा के दौरान बच्चों को बाहर का खाना खाने ना दें। इससे बच्चों में संक्रमण होने का खतरा बढ़ सकता है। जितना संभव हो सके बाहर के खाने से बचें। कोशिश करें कि रेस्तरां का खाना ना खाएं।


चाय कॉफी के स्थान पर दें मछली, गाजर
अधिक कैफीन वाली चीजों से बच्चों को दूर रखे। परीक्षा के दौरान बच्चे बहुत ज्यादा कॉफी, चाय और कोला पीना चाहते हैं, लेकिन उन्हें ऐसी चीजें देने से बचें, जिसमें कैफीन हो। उनके खाने में विटामिन को शामिल करें। परीक्षा के तनावपूर्ण समय के दौरान पानी में घुलनशील कुछ विटामिन जैसे विटामिन बी कॉम्प्लेक्स और सी शरीर के लिए आवश्यक होते है। ये मूल रूप से हमें तनाव से लडऩे में मदद करते हैं। ब्राउन चावल, मेवा, ताजा सब्जियों और फलों का सेवन करें। प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले खाद्य पदार्थ दें। अंडे, मछली, गाजर, कद्दू, हरी पत्तेदार सब्जियां, ताजे फल विटामिन ए, सी और ई की कमी को पूरा करते हैं, साथ ही, शरीर की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मदद करते हैं और परीक्षा के दौरान बच्चों को बीमार नहीं पडऩे देते।


एक साथ नहीं अपितु थोड़ा-थोड़ा दें
एक साथ खिलाने की बजह आप बच्चों को थोड़ी-थोड़ी मात्रा में कुछ-कुछ खाने को दें। उन्हें थोड़ी-थोड़ी मात्रा में पौष्टिक आहार दें, ये उन्हें सतर्क और चुस्त रखेगा। भारी मात्रा में भोजन करने से बच्चों को नींद और सुस्ती आ सकती है। पौष्टिक आहार में ताजे फल, सूखे मेवे, शहद, सूप और सलाद आदि बेहतर विकल्प हैं।


जरूर खिलाएँ मछली
बच्चे की मेमोरी शार्प करने के लिए आप बच्चे को मछली खिलाएं। मछली में मुख्य रूप से ओमेगा-3 फैटी एसिड पाया जाता है, जो स्मृति बढ़ाने में मदद करता है। अगर बच्चा मछली नहीं खाता है तो अलसी के बीज, कद्दू के बीज, तिल के बीज और सोयाबीन दें।
जूस पिलायें
खाने में हाइड्रेटेड के स्त्रोतों को शामिल करें। बच्चों को ताजा फलों के रस, छाछ या नींबू पानी या नींबू का रस और ग्रीन टी दें।


दें प्रोटीन वाली खाद्य सामग्री

प्रोटीन ऊर्जा का एक अच्छा और स्रोत है। इसलिए खाने में प्रोटीन के स्रोत जैसे- अंडा, पोहा, इडली, डोसा, ढोकला आदि शामिल करें। ये रक्त और मस्तिष्क में टाइरोसीन (एमिनो एसिड) को बढ़ाता है, ये तंत्रिका कोशिकाओं के निर्माण में भी मदद करता है। साथ ही, बच्चों को सतर्क और सक्रिय बनाए रखने में भी सहायक है।


जंक फूड और चॉकलेट से बनाएं दूरी
बच्चे को बहुत अधिक चीनी और मीठी चीजे ना दें। चॉकलेट, कुकीज आदि रक्त में शर्करा के स्तर को बढ़ा सकते है। ऐसे में पेट खाली सा लगता है और जल्दी-जल्दी भूख लगने लगती है। बच्चे को जंक फूड का भी सेवन नहीं करने दे।
 

सालों तक आपकी किताबें रहेगी नई जैसी, इस तरह रखें उनक ख्याल

सालों तक आपकी किताबें रहेगी नई जैसी, इस तरह रखें उनक ख्याल

कहते हैं कि किताबें इंसानों की सबसे अच्छी दोस्त होती हैं जो कि ज्ञानं का इजाफा करने के साथ ही आपको जिंदगी के कई सबक भी देती हैं। आज के इस डिजिटल समय में किताबें कहीं खोती हुई नजर आ रही हैं। हांलाकि कई लोग आज भी किताबों से ही पढऩा पसंद करते हैं और वह उनके लिए उनकी जमा पूंजी होती हैं। लोग चाहते हैं कि उनकी किताबें सालोंसाल उनके पास रहे क्योंकि इसके हर पन्ने से एक अहसास जुड़ा होता हैं। लेकिन ज्यादा समय तक किताबें पड़ी रहने से उनके पन्ने पीले पडऩे लग जाते हैं या निकलने लगते हैं। ऐसे में आज इस कड़ी में हम आपके लिए कुछ टिप्स लेकर आए हैं जिनकी मदद से आप किताबों का सही रखरखाव कर सकेंगे और सालों तक आपकी किताबें नई जैसी रहेगी। तो

आइये जानते हैं इन टिप्स के बारे में...

गंदे हाथों से ना छुएं किताबें
जब किताबों की केयर की बात होती है तो सबसे पहला नियम है कि आप किताबों की हाइजीन का ख्याल रखें। मसलन, कभी भी गंदे हाथों से किताबों को टच ना करें। खासतौर से, जब आप खाना खा रहे हैं तो किताबों को पढऩे से बचें। ऐसा करने से फूड आइटम ना केवल आपकी किताबों को गंदा करते हैं, बल्कि इससे तेल व पानी भी किताबों पर गिर जाएगा, जिससे आपकी किताबें डैमेज हो जाएगी।अगर आपको खाना खाते समय पढऩा अच्छा लगता है तो ऐसे में हमेशा अपने बगल में एक तौलिया रखें। जब भी आपको किताब के पन्ने पलटने हैं, तो पहले अपने हाथों को तौलिए से साफ कर लें।


बंद अलमारी में रखें
कई लोग अपनी किताबों का भंडार दिखाने के लिए अल्मारी को खोल कर रखते हैं। पर यह बिल्कुल गलत है क्योंकि इससे नमी और गंदगी किताबों को खराब कर देगी। और अगर आपको अपनी किताबे दिखाने का शौक है तो एक कांच का कैबिनेट खरीद लें, जिसमें किताबों का भंडार साफ दिखेगा।


थूक का ना करें इस्तेमाल
कई लोगों को आदत होती है कि पन्ने पलटने के लिए वे बार बार हाथ को अपने जीभ पर ले जाते हैं और फिर पन्ने पलटते हैं। लेकिन आपको बता दें कि ऐसा करने से किताबों पर बैक्टीरिया पनपने लगते हैं और अधिक दिनों तक ये नहीं रह पातीं। ऐसे में अगर आपको किताब के पन्ने पलटने हैं तो आप गीले स्पंज का इस्तेमाल लें।


किताबों को ठीक तरह से रखें
किताबों की केयर करने और उनकी शेल्फ लाइफ बढ़ाने के लिए किताबों को सही तरह से रखना भी बेहद आवश्यक है। कई बार हम किताबों को ऐसे ही इधर-उधर रख देते हैं, जिससे उनके कवर आदि फट जाते हैं और किताबें जल्द ही खराब होना शुरू हो जाती हैं। ऐसे में इस समस्या से बचने का आसान उपाय है कि आप अपने घर में किताबों को रखने के लिए एक अलग स्थान बनाएं। इतना ही नहीं, आप किताबों को रखते समय उन्हें उनकी लंबाई और साइज के आधार पर ही स्टोर करे।


नमी से बचाएं

किताबों के जल्द खराब होने की सबसे बड़ी वजह ह्यूमिडिटी भी होती है। अगर आपके कमरे के अंदर बहुत ही आर्द्र वातावरण है तो यह समय के साथ मोल्ड और फफूंदी की वजह बनेगा। जिसके कारण आपकी किताबों के पेज खराब हो जाते हैं और वह डैमेज्ड हो जाते हैं। इतना ही नहीं, उनमें से गंध भी आती है। इसलिए, आप किताबों को हमेशा ऐसी जगह पर रखें, जहां पर एयरफ्लो अच्छा हो। किताबों को रखने के लिए ओपन शेल्फ में रखना सबसे अच्छा माना जाता है।


धूप से बचाएं
अगर आप किताबों डायरेक्ट सनलाइट में रखेंगे, तो इससे सूरज से निकलने वाली यूवी किरणें किताबों के पन्ने को पीला और फीकी बना सकती हैं। आप अपने बुकशेल्फ को खिड़कियों से दूर रखें। आप अपनी पुस्तकों को सीधी धूप से सुरक्षित रखने के लिए विंडो फिल्म या पर्दे लगाने का ऑप्शन भी चुना जा सकता है।


भारी बुकमार्क का न करें इस्तेमाल
बड़े बुकमार्क किताबों की बाइंडिंग और उनके सिलाई को प्रभावित करते हैं। बेहतर होगा कि आप सिल्क या सैटन के रिबन का प्रयोग कर सकते हैं। यही नहीं, पन्नों को फोल्ड करने की आदत से भी बचें।


प्लास्टिक में न करें स्टोर
अगर इन्हें स्टोर करना हो तो आप इन्हें कार्टन या कपड़े में लपेट कर रख सकते हैं। प्लास्टिक में रखने पर इन तक हवा नहीं जा पाती और इनके कवर खराब हो जाते हैं। किताबों के पन्नों को कीड़ों से दूर रखने के लिए आप बुक शेल्फ में नेफथलीन बॉल को जरूर डालें। इससे कीड़ें नहीं आएंगे और किताबें बची रहेंगी।


धूप दिखाएं

अपनी किताबों को कभी भी ज्यादा दिनों तक ढंक कर या एक दम से बन्द कर के नहीं रखना चाहिए। अगर आप अपनी बंद किताबों को 10 साल बाद खोलेगें तो आपको उसमें सिवाए धूल के और कुछ नहीं मिलेगी। किताबों को भी धूप और रौशनी की जरुरत होती है इसलिए अगर आप उन्हें नहीं पढ रहें हैं तो भी उनको बाहर निकाल कर कुछ दिनों के लिए बाहर सूरज की रौशनी में जरूर रखें।

गर्मियों में करें गन्ने के जूस का सेवन, ये फायदे जान आप भी रह जाएंगे हैरान

गर्मियों में करें गन्ने के जूस का सेवन, ये फायदे जान आप भी रह जाएंगे हैरान

गर्मियों का मौसम आते ही ठंडे पेय पदार्थ पीने का मन करता है जिसमे सबसे ज्यादा पसंद किया जाता हैं गन्ने का जूस। गर्मियों की शुरुआत होते ही जगह-जगह गन्ने के जूस की दुकान और ठेले देखने को मिल जाते हैं। चिलचिलाती धूप में गन्ने का जूस किसी अमृत से कम नहीं है। गर्मियों के दिनों में यह सस्ता और बेहद गुणकारी साबित होता हैं। कैल्शियम, पोटैशियम, आयरन, मैग्नेशियम, फॉस्फोरस, विटामिन ए, बी1, बी2, बी3, बी5, बी6 और विटामिन सी जैसे पोषक तत्वों से भरपूर गन्ने का रस शरीर को कई तरह के फायदे पहुंचाता हैं जिसके बारे में आज इस कड़ी में हम आपको बताने जा रहे हैं। तो आइये जानते हैं...


लिवर को डिटॉक्सीफाई करता है
गन्ने का जूस लिवर के लिए काफी फायदेमंद माना जाता है। ये लिवर को डिटॉक्सीफाई करने का काम करता है। गन्ने के रस में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स लिवर के विषैले तत्वों को बाहर निकालकर उसे इंफेक्शन से बचाते हैं। पीलिया के रोग में गन्ने के जूस को काफी फायदेमंद माना जाता है।

पाचन तंत्र होता है मजबूत
रोजाना गन्ने का जूस पीने से पाचन शक्ति मजबूत हो जाती है। जिससे खाना पचने में आसानी होती है। गन्ने का जूस मेटाबॉलिज्म रेट को बढ़ाता है जिससे आपका वजन आसानी से कम हो जाता है। गन्ने का रस शरीर के लिए फायदेमंद होता है। बाजार में मिलने वाली अन्य ड्रिंक की तुलना में ये बेहतर होता है।


कैंसर से करता बचाव
आपको जानकर हैरानी होगी, लेकिन गन्ने के रस में ऐसे कई तत्व होते हैं जो शरीर का कैंसर से बचाव करते हैं। प्रोस्टेट और ब्रेस्ट कैंसर से लडऩे में गन्ने के रस को काफी कारगर माना जाता है।


दिल की बीमारियों में कारगर
गन्ने का जूस दिल से जुड़ी बीमारियों में भी बहुत फायदेमंद होता है। गन्ने का जूस शरीर में कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम करके दिल की कोशिकाओं में फैट को जमने से रोकता है। जिससे दिल की बीमारियों के होने का चांस कम हो जाता है।


ऑस्टियोपोरोसिस से बचाता
तमाम विशेषज्ञों का मानना है कि अगर गन्ने का रस रोज पीया जाए तो वो ऑस्टियोपोरोसिस जैसी समस्या से बचाव करता है। इसमें मौजूद कैल्शियम, मैग्नीशियम, फास्फोरस, आयरन और पोटैशियम जैसे तत्व हड्डियों को मजबूती देने का काम करते हैं।


थकान होती है दूर
जैसा कि गर्मी, धूप और उमस से गर्मियों के सीजन में हर किसी को दिक्कत होती है। मौसम की मार पडऩे से शरीर में पानी की कमी हो सकती है और डिहाइड्रेशन की स्थिति पैदा हो सकती है। वहीं, गर्मी से बहुत अधिक सुस्ती और थकान महसूस हो सकती है। इन सभी परेशानियों को कम करता है गन्ने का जूस। ईख या गन्ने का रस पीने से शरीर को इंस्टैंट एनर्जी मिलती है और आप तरोताजा महसूस करते हैं।
यूरिन इंफेक्शन की समस्या से बचाव


महिलाओं को अक्सर जल्दी जल्दी यूरिन इंफेक्शन हो जाता है। ऐसे में अगर वे नियमित तौर पर गन्ने का जूस पीएं तो उन्हें काफी फायदा मिल सकता है। गन्ने का रस शरीर से विषैले तत्वों को बाहर निकालता है और यूटीआई इंफेक्शन का रिस्क घटाता है।


डायबिटीज रोगी भी करें सेवन
एक शोध के मुताबिक, अतिरिक्त शुगर और नमक के बिना तैयार किए गए गन्ने के जूस का सेवन शुगर के मरीज भी कर सकते हैं। गन्ने का जूस पीने से शुगर लेवल कंट्रोल में रहता है। गन्ने के जूस में नेचुरल शुगर मौजूद होती है। इसके अलावा इसमें ग्लाइसेमिक एसिड मौजूद होता है।

स्किन को ग्लोइंग बनाता है
अगर आपकी स्किन डल हो गई है या समय से पहले झुर्रियों की परेशानी हो रही है तो आपको नियमित तौर पर गन्ने का रस पीना चाहिए। ये एंटी एजिंग साइन्स हटाता है, स्किन को चमकदार बनाता है और मुंहासों जैसी समस्याओं को दूर करता है।
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कब्ज से राहत दिला सकते हैं ये घरेलू नुस्खे, समस्या होने पर जरूर आजमाकर देंखे

कब्ज से राहत दिला सकते हैं ये घरेलू नुस्खे, समस्या होने पर जरूर आजमाकर देंखे

शरीर की पाचन क्रिया के सुचारू रूप से काम न करने की वजह से कब्ज जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती है, जो पेट और आंत से जुड़ी कई परेशानियों को जन्म दे सकती हैं। इसके अतिरिक्त, कब्ज की समस्या के कारण शरीर में भी भारीपन महसूस होने लगता है। आइए आज हम आपको कुछ ऐसे घरेलू नुस्खे बताते हैं, जो कब्ज की समस्या से जल्द राहत दिलाने में काफी मदद कर सकते हैं।
अगर कब्ज वाले लोग सुबह एक गिलास पानी पीने के बाद टहलते या फिर सूर्य नमस्कार जैसे योगासन का अभ्यास करते हैं तो इससे भी उनको फायदा होगा। इसके अतिरिक्त, कब्ज से राहत पाने के लिए ईसबघोल पाउडर को पानी या दही में मिलाकर खा सकते हैं।
रोजाना पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं
निर्जलीकरण की वजह से व्यक्ति को कब्ज की समस्या का सामना करना पड़ सकता है। दरअसल, जब कोई व्यक्ति निर्जलित हो जाता है, तो शरीर पेट सहित पूरे शरीर से पानी खींचना शुरू कर देता है, जिसके कारण कब्ज की समस्या उत्पन्न हो सकती है। इसलिए रोजाना कम से कम छह से आठ गिलास पानी जरूर पिएं क्योंकि इससे शरीर हाइड्रेट रहेगा और हाइड्रेट रहने से मल नरम रहता है, जिससे मल त्यागने में कोई परेशानी नहीं होती।
डाइट में शामिल करें फाइबर युक्त खाद्य पदार्थ
कब्ज की समस्या से राहत पाने के लिए डाइट में फाइबर युक्त खाद्य पदार्थों को शामिल करना भी लाभदायक हो सकता है। इसके लिए अधिक से अधिक हरी सब्जियां, ताजे और मौसमी फल और साबुत अनाज आदि का सेवन किया जा सकता है। इस प्रकार के भोजन को करने से पाचन क्रिया स्वस्थ रहती है और अगर पाचन क्रिया सही रहेगी तो कब्ज जैसी पाचन संबंधित समस्याएं नहीं होगी।
तेल मालिश आएगी काम
आप चाहें तो कब्ज की समस्या से राहत पाने के लिए मालिश भी कर सकते हैं। इसके लिए सबसे पहले बेड या फिर जमीन पर पीठ के बल लेंटे, फिर अपनी हथेलियों पर थोड़ा सा तेल लेकर पेट की क्लॉक वाइज मालिश करें। ध्यान रखें कि मालिश हल्के हाथों से करनी है। कब्ज होने पर दिन में दो बार इस उपाय को अपनाएं और मालिश के बाद गर्म पानी या हर्बल टी पिएं।
एक्सरसाइज और योगासनों का अभ्यास करें
कुछ एक्सरसाइज और योगासनों का अभ्यास भी कब्ज की समस्या से राहत दिलाने में मदद कर सकता है। एक्सरसाइज की बात करें तो रिलेक्सिंग टेक्निक, स्ट्रैचिंग एक्सरसाइज और स्ट्रेटनिंग पेल्विक फ्लोर मसल एक्सरसाइज को अपने रूटीन में शामिल करना फायदेमंद है। वहीं, योगासनों के तौर पर सूर्य नमस्कार, उत्तानपादासन, मंडूकासन, मत्स्यासन, सुप्त वज्रासन, चक्रासन, धनुरासन, मकरासन, नौकासन और मत्स्य क्रीड़ासन आदि का अभ्यास करने से यह समस्या दूर हो सकती है।

 

आम खरीदते समय इन बातों का रखें खास ध्यान, निकलेगा मीठा

आम खरीदते समय इन बातों का रखें खास ध्यान, निकलेगा मीठा

गर्मी का मौसम आते ही बाजारों में आम आने भी शरू हो जाते हैं। हालांकि, बाजार में लगभग 12 किस्म के आम मौजूद होते हैं। इसलिए लोगों के लिए सही आम का चयन करना मुश्किल हो जाता है और वे बिना सोचे-समझे इसे खरीद लेते हैं। ऐसा करने पर कई बार आम अंदर से कच्चा और बेस्वाद निकल आता है। अगर आप पका और मीठा आम खरीदना चाहते हैं तो इन टिप्स को फॉलो करें।


आम को छूकर देंखे
जब भी आप आम खरीदने जाए तो एक बार उन्हें छूकर देंखे। इससे आपको इस बात का अंदाजा हो जाएगा कि आम कच्चा है या पका। अगर छूने पर आम सख्त पाया जाए तो उसे नहीं खरीदना चाहिए क्योंकि वह कच्चा और खट्टा निकल सकता है। वहीं, जो आम छूने में थोड़ा सॉफ्ट लगे, उसे खरीद लें क्योंकि ऐसे आम पके निकलते हैं और वह मीठे होते हैं।


आम की महक पर ध्यान देना भी है जरूरी
जब भी आप आम खरीदने जाए तो इसकी खुशबू पर खास ध्यान दें। दरअसल, बाजार में कुछ ऐसे आम भी आते हैं, जिनमें आर्टिफिशियल महक शामिल होती है और इनके सेवन से स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव पड़ता है। इसलिए बेहतर होगा कि आप ऐसे आमों को खरीदने से बचें। वहीं, हल्की महक वाले आम को भी न खरीदें। आपको ऐसा आम खरीदना चाहिए, जिसमें से तेज मिठास की खुशबू आ रही हो।


इस तरह के आम खरीदने से बचें

अगर किसी आम से पानी रिस रहा हो तो उसे न खरीदें क्योंकि ऐसे आम खुद तो जल्दी सड़ जाते हैं और अन्य आम को भी खराब कर देते हैं। अगर आम में काले दाग-धब्बे हों या फिर छेद हो तो भी उन्हें खरीदने से बचें। वहीं, अगर आम आकार में अधिक बड़े हो तो इन्हें भी न खरीदें क्योंकि ऐसे आम आर्टीफीशियल फार्मिंग से तैयार किए जाते हैं। इनमें न तो स्वाद होता है और न ही स्वास्थ्यवर्धक।


आम को ऐसे करें स्टोर
अगर आप कच्चे आम को स्टोर करना चाहते हैं तो इसके लिए सभी कच्चे आमों को ऐसी टोकरी में रखें जिससे हवा आर-पार हो सके क्योंकि ऑक्सीजन ब्लॉक होने पर आम जल्दी खराब हो जाते हैं। वहीं, पके आम को फ्रिज में स्टोर करके रखें। हालांकि अगर आपके फ्रिज में टोकरी नहीं है तो आप इन्हें पेपर बैग में डालकर फ्रिज में रख सकते हैं। इससे ये कम से कम छह दिनों तक सही रहेंगे।

गर्मियों में हो जाती है डिहाइड्रेशन की समस्या, बचने के लिए करें इन 7 चीजों का सेवन

गर्मियों में हो जाती है डिहाइड्रेशन की समस्या, बचने के लिए करें इन 7 चीजों का सेवन

गर्मियों के मौसम में डिहाइड्रेशन की समस्या सबसे अधिक देखने को मिलती है। यह तब होता है जब हमारा शरीर तरल पदार्थ और इलेक्ट्रोलाइट्स को बनाए रखने में असमर्थ होता है। इसके कारण ना सिर्फ किडनी, गुर्दे व शरीर के अन्य अंगों को नुकसान पहुंचता है बल्कि यह चक्कर आना, कमजोरी का कारण भी बन सकता है। वैसे तो डिहाइड्रेशन से बचने के लिए हर किसी को रोजाना 3 लीटर पानी पीना चाहिए लेकिन आप डाइट में कुछ फूड्स लेकर भी बॉडी को हाइड्रेट कर सकते हैं। इन फूड्स से करें बॉडी को हाइड्रेट...

केला : - केले का सेवन दिन में एक या दो बार किया जा सकता है क्योंकि ये निर्जलीकरण के दौरान खोए हुए पोटेशियम को वापस पाने में मदद करता है।

छाछ :- 1 कप छाछ में सोंठ मिलाकर दिन में कम से कम 3 से 4 बार इसका सेवन करें। इससे ना सिर्फ बॉडी हाइड्रेट रहेगी बल्कि आप बीमारियों से भी बचे रहेंगे।

नारियल पानी :- दिन में 1 नारियल पानी का सेवन भी बॉडी को हाइड्रेट करता है। वहीं, इसमें सोडियम और पोटैशियम होता है, जो आपको सेहतमंद रखने में फायदेमंद है।

दही :- दही डिहाइड्रेशन के लिए सबसे अच्छे घरेलू उपचारों में से एक है। दिन में एक बार इसका सेवन शरीर के लिए फायदेमंद साबित हो सकता है।

फल और सब्जियां :-  बॉडी को हाइड्रेट रखने के लिए अपनी डाइट में पानी से भरपूर फूड्स शामिल करें। इसके लिए आप संतरा, पालक, सलाद पत्ता, पपीता, खीरा खा सकते हैं।

तरबूज :- गर्मियों में खाए जाने वाले तरबूज में 99त्न पानी होता है। आप इसका जूस निकालकर पी सकते हैं। इसके अलावा तरबूज की स्मूदी, फ्रूट सलाद भी गर्मियों के लिए परफेक्ट ऑप्शन है।

आइसबर्ग लेट्यूस : - इसमें 95 प्रतिशत पानी होता है और गर्मियों के सलाद के लिए एक अच्छा हाइड्रेटिंग बेस होता है। इसमें फाइबर, विटामिन के और फोलेट भी भरपूर मात्रा में होता है।