रायपुर,शासकीय कला एवं वाणिज्य कन्या महाविद्यालय देवेंद्र नगर में ग्रन्थालय में वाणिज्य विभाग के द्वारा बेस्ट रीडर चयन एवं साप्ताहिक संगोष्ठी के अंतर्गत छात्राओं ने विभिन्न विषयों पर अपने विचार व्यक्त किए। यह समिति के सदस्य मनोविज्ञान विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ उषा किरण अग्रवाल, डॉ नरेश पुरी, डॉ शैल बाला जैस, डॉ आशा दुबे , वाणिज्य विभाग से डॉ मिनी गुप्ता डॉ विनीता शर्मा आदि उपस्थित थे। यह कार्य महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ एके जायसवाल के निर्देशन में किया गया।
अंकेक्षण पर अपने विचार व्यक्त करते हुए वाणिज्य विभाग की छात्रा समता तलरेजा ने बताया कि अंकेक्षण एक बहुत ही महतवपूर्ण कार्य है।किसी भी संस्थान में यह एक बहुत ही उत्तरदायित्व पूर्ण कार्य होता है। अंकेक्षण की अनिवार्यता का प्रश्न व्यवसाय एवं औद्योगिक संस्थाओं में बड़े पैमाने पर होने वाले विकास से जुड़ा है। व्यवसायिक संस्थाओं पर लगे आयकर विक्रय कर मृत्यु कर आदि के विवाद के निपटारे के लिए खातों का अंकेशन अति आवश्यक है। वर्तमान में अंकेक्षक के मानकों की आवश्यकता पर बहुत बल दिया गया है। द्वितीय वक्ता हर्षिता ने बताया कि भारत एक बहुत ही विकासशील अर्थव्यवस्था है जिसमें कृषि गत वस्तुओं के संबंध में पूर्ण प्रतियोगिता की स्थिति देखने को मिलती है। सीमेंट, कागज उद्योग, मशीन मोटर कार इत्यादि में कुछ उत्पादकों का प्रभाव होने से भारतीय उद्योगों को अल्पाधिकार प्रतियोगिता की दिशा में माना गया है। खरीद एवं बिक्री के कार्य को तेज करने के लिए लेनदेन की क्षमताओं को बढ़ाने के लिए ई-कॉमर्स एक आवश्यक कदम है। ई-कॉमर्स ने भौगोलिक सीमाओं को तोड़कर विश्व के सभी ग्राहकों को एक साथ इकट्ठा कर दिया है। भारत की औद्योगिक इकाइयां एवं व्यापारिक घराने ई-कॉमर्स को निरंतर अपनाने की दिशा में अग्रसर हैं। समिति के सदस्यों के द्वारा बेस्ट रीडर के लिए समता तालरेजा का चयन किया गया।ग्रन्थालय में वाणिज्य विभाग के द्वारा बेस्ट रीडर चयन एवं साप्ताहिक संगोष्ठी के अंतर्गत छात्राओं ने विभिन्न विषयों पर अपने विचार व्यक्त किए। यह समिति के सदस्य मनोविज्ञान विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ उषा किरण अग्रवाल, डॉ नरेश पुरी, डॉ शैल बाला जैस, डॉ आशा दुबे , वाणिज्य विभाग से डॉ मिनी गुप्ता डॉ विनीता शर्मा आदि उपस्थित थे। यह कार्य महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ एके जायसवाल के निर्देशन में किया गया।अंकेषण पर अपने विचार व्यक्त करते हुए वाणिज्य विभाग की छात्रा समता तलरेजा ने बताया कि अंकेषणं एक बहुत ही महतवपूर्ण कार्य है।किसी भी संस्थान में यह एक बहुत ही उत्तरदायित्व पूर्ण कार्य होता है। अंकेशन की अनिवार्यता का प्रश्न व्यवसाय एवं औद्योगिक संस्थाओं में बड़े पैमाने पर होने वाले विकास से जुड़ा है। व्यवसायिक संस्थाओं पर लगे आयकर विक्रय कर मृत्यु कर आदि के विवाद के निपटारे के लिए खातों का अंकेशन अति आवश्यक है। वर्तमान में अंकेक्षक के मानकों की आवश्यकता पर बहुत बल दिया गया है। द्वितीय वक्ता हर्षिता ने बताया कि भारत एक बहुत ही विकासशील अर्थव्यवस्था है जिसमें कृषि गत वस्तुओं के संबंध में पूर्ण प्रतियोगिता की स्थिति देखने को मिलती है। सीमेंट, कागज उद्योग, मशीन मोटर कार इत्यादि में कुछ उत्पादकों का प्रभाव होने से भारतीय उद्योगों को अल्पाधिकार प्रतियोगिता की दिशा में माना गया है। खरीद एवं बिक्री के कार्य को तेज करने के लिए लेनदेन की क्षमताओं को बढ़ाने के लिए ई-कॉमर्स एक आवश्यक कदम है। ई-कॉमर्स ने भौगोलिक सीमाओं को तोड़कर विश्व के सभी ग्राहकों को एक साथ इकट्ठा कर दिया है। भारत की औद्योगिक इकाइयां एवं व्यापारिक घराने ई-कॉमर्स को निरंतर अपनाने की दिशा में अग्रसर हैं। समिति के सदस्यों के द्वारा बेस्ट रीडर के लिए समता तालरेजा का चयन किया गया।