नई दिल्ली। सोने-चांदी की कीमतों में एक बार फिर गिरावट आई है। वायदा बाजार में सोने की कीमत करीब 0.36 फीसदी यानी 170 रुपए गिरकर 47,164 रुपए प्रति 10 ग्राम पर आ गई है। वहीं दूसरी ओर चांदी की वायदा बाजार में कीमत में 0.88 फीसदी की गिरावट देखी गई है। 366 रुपए की गिरावट के बाद चांदी 47,324 रुपए प्रति किलो के स्तर पर आ गई है। इस गिरावट की मुख्य वजह मुनाफावसूली रही है।
नईदिल्ली, बीमा नियामक आईआरडीए ने नया वाहन खरीदने की योजना रहे लोगों के लिए राहत की खबर दी है। आईआरडीए ने कारों और मोटरसाइकिलों के लिए 3 साल और 5 साल के लॉन्ग टर्म कवरेज को वापस ले लिया है। यह नियम ऐसे वक्त में लागू किया गया है, जब कोरोना वायरस लॉकडाउन की वजह से लोग अपनी नौकरी गंवा चुके हैं या वेतन में कटौती जैसी परेशानियों का सामना कर रहे हैं।
वाहनों के लिए लॉन्ग टर्म कवरेज को 2018 के बाद से खरीदे गए सभी वाहन के लिए अनिवार्य बना दिया गया था। आईआरडीए ने कहा कि पॉलिसी को बेचना काफी मुश्किल होता था, क्योंकि इसकी कीमत काफी अधिक होती थी।
भारतीय बीमा विनियामक और विकास प्राधिकरण (आईआरडीए) ने बीमाकर्ताओं के लिए अगस्त 2018 से कारों के लिए तीन साल की मोटर पॉलिसी और सितंबर 2018 से दोपहिया वाहनों के लिए पांच साल की मोटर पॉलिसी अनिवार्य कर दिया था। सुप्रीम कोर्ट के थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के बिना कोई वाहन सड़क पर नहीं चलेंगी, इस फैसले के बाद यह और अधिक अनिवार्य हो गया था।
कोरोना वायरस लॉकडाउन के कारण बीमा कंपनियों को पूरी तरह से खत्म होने की आशंका के चलते यह दिशा-निर्देश लाया गया। साल की पहली तिमाही में देश में बंद के दौरान नए वाहनों की बिक्री न के बराबर हुई। लोगों की खत्म होती नौकरी और वेतन कटौती के बाद ये नियम थोड़े राहत देने वाले हो सकते हैं। नया वाहन खरीदने की योजना बनाने वालों के लिए यह काफी राहत की खबर है, क्योंकि कई सालों के लिए बीमा प्रीमियम का अग्रिम भुगतान कई ग्राहकों के लिए अतिरिक्त बोझ जैसा था। कई ऑटो डीलरों ने शहरों में अपने आउटलेट खोलना शुरू कर दिया है।
रायपुर,कान्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स ने ऐलान किया है कि उनके द्वारा आगामी 10 जून से देश भर में चीनी वस्तुओं के बहिष्कार को लेकर एक राष्ट्रीय अभियान”भारतीय सामान – हमारा अभिमान” चलाया जायेगा. कैट के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर पारवानी ने कहा है कि दिसंबर 2021 तक चीनी वस्तुओं के भारत द्वारा आयात में लगभग 1.5 लाख करोड़ रुपये कम करने का कैट ने लक्ष्य रखा है.
चीनी सामानों के बहिष्कार अभियान के बारे में अमर पारवानी ने बताया कि चीन से आयात होने वाले लगभग 3000 उत्पादों की ऐसी सूची बनाई है जिन वस्तुओं के आयात न होने से भारत को कोई अंतर नहीं पड़ेगा और वो सारी वस्तुएं भारत में पहले से ही बन रही है. कैट ने कहा कि इस अभियान के अंतर्गत जहाँ कैट व्यापारियों को चीनी वस्तुएं न बेचे जाने के लिए आग्रह करेगा वहीं देश के लोगों से चीनी वस्तुओं के स्थान पर स्वदेशी उत्पादों को इस्तेमाल में लाने का आग्रह करेगा और इस तरह से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान लोकल पर वोकल को सफल बनाने में कैट एक हम भूमिका निभाएगा .
इस अभियान की आज घोषणा करते हुए कैट के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अमर पारवानी ने बताया कि चीन सदा से ही महत्वपूर्ण मामलों में भारत का विरोधी रहा है और पाकिस्तान की भारत के खिलाफ कुटिल चालों और आतंकवाद को बढ़ावा देने में चीन का अप्रत्यक्ष रूप से बड़ा हाथ रहा है और इस बात को देखते हुए कैट पिछले चार वर्षों से चीनी उत्पादों के बहिष्कार को लेकर लगातार समय समय पर आंदोलन छेड़ता रहा है जिसके कारण से तथा सरकार के मेक इन इंडिया कार्यक्रम की वजह से वर्ष 2018 से अब तक चीन से आयात में लगभग 6 अरब डॉलर की कमी हुई है.
पारवानी ने कहा की जब भी चीनी सामान के बहिष्कार की बात होती है तब कुछ लोग हमेशा यह सवाल उठाते हैं कि यह हो नहीं सकता लेकिन भारत के व्यापारी भारतीय नागरिकों के साथ मिलकर इसको कर के दिखाने का संकल्प ले चुके हैं . बेशक यह एक रात में नहीं होगा लेकिन हम इसकी शुरुआत करेंगे और अपने लक्ष्य को हासिल करेंगे .व्यापारियों ने यह भी अनुभव किया है कि ग्राहकों में भी चीनी वस्तुओं को लेकर एक आक्रोश है और वो भी अब चीनी वस्तुओं के स्थान पर स्वदेशी वस्तुओं को खरीदने के लिए ज्यादा तैयार हैं .
पारवानी ने कहा कि भारत में चीनी वस्तुओं को बढ़ावा देने के पीछे चीन की एक सोची समझी साजिश है जो भारत के रिटेल व्यापार पर कब्जा कर भारतीय अर्थव्यवस्था को पंगु बना देने की है. उन्होंने कहा कि वर्ष 2001 में भारत में चीनी वस्तुओं का आयात केवल 2 अरब डॉलर था जो वर्ष 2019 में 70 अरब डॉलर हो गया है. केवल लगभग 20 वर्षों में यह आयात लगभग 35 गुना बढ़ गया अर्थात चीन से आयातित होने वाली वस्तुओं में 3500 प्रतिशत की वृद्धि हो गई. यह चैकाने वाला आंकड़ा साफ बताता है कि किस प्रकार एक रणनीति के तहत भारत को चीन ने अपने लिए विश्व का सबसे बड़ा बाजार बनाया है और इसके लिए चीन ने सस्ती से सस्ती दर पर विभिन्न उत्पाद देकर भारतीय ग्राहकों के बीच स्वदेशी उत्पादों को छोड़ कर सस्ता खरीदने की मानसिकता का निर्माण किया और काफी हद तक उसमें सफल भी रहा. यह एक तरीके से चीन का आर्थिक आतंकवाद भी है और एक नई ईस्ट इंडिया कंपनी की तरह व्यवहार करने का मामला भी है.
पारवानी ने बताया कि आगामी 10 जून से शुरू होने वाले इस राष्ट्रीय अभियान के अंतर्गत जब तक परिस्थितियां सामान्य नहीं हो जाती तब तक कैट देश के सभी राज्यों के व्यापारिक संगठनों से वीडियो कांफ्रेंस के जरिये बात करेगा और आग्रह करेगा कि व्यापारी चीनी सामान को बेचने की जगह भारतीय उत्पादों को बेचें और यह भी आग्रह करेगा कि वो अपनी दुकान पर आने वाले ग्राहकों को भी इस बात के लिए प्रेरित करे कि वो भारतीय उत्पाद ही खरीदें जिनकी गारंटी होती है जबकि चीनी सामान की गई गारंटी नहीं होती. इसके अलावा कैट सोशल मीडिया के जरिये भी देश भर में एक बड़ा अभियान चलाएगा और अधिक से अधिक लोगों को इस अभियान से जोड़ेगा.
मुंबई। कंटेनमेंट जोन को छोड़कर पूरे देश में सभी प्रकार की आर्थिक गतिविधियों की छूट देने के केंद्र सरकार के फैसले के बाद आज घरेलू शेयर बाजारों में शुरुआती कारोबार में तूफानी तेजी देखी गयी। बाजार खुलने के बाद देखते-देखते बीएसई का सेंसेक्स 900 अंक और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का निफ्टी 260 अंक से अधिक चढ़ गया। पिछले सप्ताह 32,424.10 अंक पर बंद होने वाला सेंसेक्स 481.95 अंक की बढ़त में 32,906.05 अंक पर खुला और चंद मिनटों में 900 अंक से अधिक की छलाँग लगाकर 33,334.96 अंक पर पहुँच गया।
नई दिल्ली | सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक ऑफ इंडिया ने अपने सभी टेन्योर के लोन पर कोष की सीमांत लागत आधारित ऋण ब्याज दर (एमसीएलआर) को 0.25 फीसदी घटाने की घोषणा की है। इससे होम लोन, ऑटो लोन और सभी प्रकार के एमएसएमई लोन लेना सस्ता हो जाएगा। नई ब्याज दरें एक जून 2020 यानी अगले सोमवार से प्रभावी होंगी।
वॉशिंगटनः गूगल और एपल ने उस तकनीक को लॉन्च कर दिया है, जिससे कोरोना के लिए अलर्ट देने वाला ऐप तैयार किया जा सकता है. इस तकनीक से तैयार ऐप कोरोना संक्रमित के संपर्क में आने से पहले इसे इस्तेमाल करने वाले को सतर्क करेगा.
एपल के CEO टिम कुक ने ट्विटर पर लिखा, ''हमारी तकनीक स्वास्थ्य अधिकारियों को कोरोना संक्रमितों की पहचान करने में सहायता करेगी. हमने गूगल के साथ मिलकर एक्सपोजर नोटिफिकेशन तकनीक को तैयार किया है. हम इस तकनीक को जल्द ही यूजर्स तक उपलब्ध कराएंगे और यह यूजर्स का डाटा पूरी तरह से सुरक्षित रखेगी.''
Technology can help health officials rapidly tell someone they may have been exposed to COVID-19. Today the Exposure Notification API we created with @Google is available to help public health agencies make their COVID-19 apps effective while protecting user privacy.
— Tim Cook (@tim_cook) May 20, 2020
गूगल के CEO सुंदर पिचाई ने ट्वीट किया, ''हमने इस तकनीक को एपल के साथ मिलकर बनाया है. उपलब्ध ऐप स्वास्थ्य एजेंसियों को संक्रमण का पता लगाने में मदद करेगा. हमारा लक्ष्य लोगों की गोपनीयता को ध्यान में रखते हुए वायरस के खतरे से लड़ना है.''
कैसे काम करेगी यह तकनीक
ये तकनीक वायरलेस टेक्नॉलॉजी ब्लूटूथ पर काम करेगी. इस तकनीक का इस्तेमाल कर सरकारी संस्था या स्वास्थ्य एजेंसियां अपना खुद का ऐप तैयार कर सकती हैं. जिससे कोरोना संक्रमित लोगों की पहचान करने में मदद मिलेगी.
इस तकनीक से तैयार ऐप को गूगल या एपल प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है. एक आंकड़े के मुताबिक दुनिया भर में 380 करोड़ लोग स्मार्ट फोन इस्तेमाल करते हैं.
नई दिल्ली | भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया जैसी दूरसंचार कंपनियों के विभिन्न लाइसेंसों के नवीनीकरण का समय नजदीक आने के बीच दूरसंचार विभाग अक्टूबर से पहले स्पेक्ट्रम नीलामी की योजना पर काम कर रहा है। इस नीलामी में 5जी सेवाओं से जुड़े स्पेक्ट्रम बैंड की नीलामी नहीं किए जाने की संभावना है। इस प्रक्रिया में शामिल सूत्र ने बताया कि विभाग इस संबंध में मंत्रिमंडल की मंजूरी के लिए एक नोट तैयार कर रहा है। पूर्व के प्रस्तावों के विपरीत इसमें 5जी सेवाओं के लिए मुफीद 3,300 से 3,600 मेगाहर्ट्ज के बैंड को शामिल नहीं किया जाएगा।
नई दिल्ली | पोस्ट ऑफिस में स्माल सेविंग्स के लिए कई स्कीम है, जिसमें एफडी करने की भी सुविधा शामिल है। बैंक की तरह पोस्ट ऑफिस में भी आप एफडी कर सकते हैं। पोस्ट ऑफिस में टाइम डिपॉजिट के नाम से यह स्कीम उपलब्ध है, जिसमें 1 साल, 2 साल, 3 साल और 5 साल के लिए पैसे जमा कर सकते हैं। फायदा यह है कि यहां बैंक की तुलना में एफडी पर ब्याज दर 1 फीसदी ज्यादा है। एसबीआई में जहां 5 साल की एफडी पर 507 फीसदी सालाना ब्याज है। वहीं पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट के तहत 5 साल की जमा पर 6.7 फीसदी सालाना ब्याज मिल रहा है।
नई दिल्ली, कोरोना वायरस महामारी रोकने के लिए देश में 23 मार्च से लॉक डाउन जारी है। इस वजह से अर्थव्यवस्था का हाल बेहाल है। कंपनियां, कल-कारखाने सभी बंद हैं। ऐसे में लाखों कामगारों के समक्ष नौकरी का संकट खड़ा हो गया है। इस स्थिति में ESIC की अटल बीमित व्यक्ति कल्याण योजना आपका बड़ा सहारा बन सकती है।
यह सरकार की एक ऐसी स्कीम है, जिससे आपको 2 साल तक सैलरी मिलती रहेगी। भले ही यह सैलरी कम हो, लेकिन इससे संकट की घड़ी में आप अपना परिवार तो चला ही सकते हैं। यह योजना मोदी सरकार द्वारा 1 जुलाई 2018 में 2 साल के लिए लागू की गई थी।
ईएसआईसी (ESIC) ने इस बारे में एक ट्वीट किया है। ट्वीट में कहा गया है, ‘अटल बीमित व्यक्ति कल्याण योजना' के तहत आपकी नौकरी जाने पर सरकार आपको आर्थिक मदद देती है। किसी वजह से आपका रोजगार छूट जाने का मतलब आपकी आमदनी का नुकसान होना नहीं है।‘
किसे मिल सकता है योजना का फायदा: बीमाकृत व्यक्ति के बेरोजगार होने की स्थिति में और नए रोजगार की तलाश के दौरान नकद राहत राशि का सीधे बैंक खाते में भुगतान। इसके लिए बेरोजगारी के पूर्व 2 वर्षों में प्रत्येक अंशदान अवधि में कम से कम 78 दिन अंशदान किया गया है। राहत राशि प्रतिदिन औसत आय के 25 प्रतिशत से ज्यादा नहीं होगी।
अगर किसी भी व्यक्ति को गलत आचरण की वजह से बाहर निकाला जाता है तो उसको फायदा नहीं मिलेगा। अगर आप स्वेच्छा से रिटायरमेंट लेते हैं तो आपको इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा। इस योजना का फायदा आप सिर्फ एक बार ही उठा सकते हैं।
कैसे भरें ऑनलाइन फॉर्म :
अगर आप भी इस योजना का फायदा लेना चाहते हैं तो आपको ESIC की अटल बीमित व्य।क्ति कल्याभण योजना के लिए रजिस्ट्रेशन कराना होगा। आप ESIC की वेबसाइट पर जाकर अटल बीमित व्ययक्ति कल्यािण योजना का फॉर्म डाउनलोड कर सकते हैं। फॉर्म 5 ए के साथ ही आपकी बैंक डिटेल भी दी गई है। अगर यह जानकारी सही है तो एग्री पर क्लिक कर सबमिट का बटन दबाएं।
अगर इस फॉर्म में बैंक डिटेल के साथ आवश्य्क जानकारी नही है तो आप दूसरा 5 ए फॉर्म डाउनलोड कर भर सकते हैं। इसके बाद फिर होम पेज पर जाएं और PMGKY रेमबर्समेंट रजिस्ट्रेशन पर क्लिक करें। इस्टेब्लिशमेंट का कॉलम भरें और एग्री पर क्लिक कर फॉर्म सब्मिट कर दें।
उल्लेखनीय है कि सरकार ने नियक्ताओं से उन कर्मचारियों का वेतन नहीं काटने की अपील की है जो कोरोना महामारी और सोशल डिस्टेंसिंग के चलते काम पर नहीं जा पा रहे हैं। साथ ही ESIC लाभार्थियों को आयुष्मातन भारत योजना के तहत सूचीबद्ध अस्पतालों में मुफ्त इलाज भी मिलेगा।
नई दिल्ली | बैंकों के कर्ज सस्ता करने की सूची में एक और सरकारी बैंक शामिल हो गया है। सार्वजनिक क्षेत्र के यूनियन बैंक ऑफ इंडिया ने मार्जिनल कॉस्ट ऑफ फंड्स आधारित लेंडिंग रेट में सभी अवधि या टेनर्स के लिए 5-15 (0.05 प्रतिशत-0.15 प्रतिशत) बेसिस पॉइंट्स की कटौती की है। यह परिवर्तन 11 मई 2020 से प्रभावी होगा। बैंक से मिली जानकारी के अनुसार इसने ओवरनाइट एमसीएलआर को 15 बेसिस पॉइंट्स से घटाकर 7.15 प्रतिशत, 1 महीने की एमसीएलआर को 10 बेसिस पॉइंट्स से घटाकर 7.25 प्रतिशत, 3 महीने और 6 महीने के एमसीएलआर को 5 बेसिस पॉइंट्स से घटाकर 7.40 प्रतिशत और 7.55 प्रतिशत कर दिया है। बैंक ने एक साल की एमसीएलआर 7.75 प्रतिशत से घटाकर 7.70 प्रतिशत कर दिया है।
मुंबई | कोरोना वायरस महामारी के कारण तमाम एयरलाइंस कंपनियों के उड़ानों पर रोक के बीच देश की सबसे बड़ी विमानन सेवा प्रदाता कंपनी इंडिगो एयरलाइन ने मई में सैलरी में कटौती के अलावा, जुलाई तक लीव विदआउट पे का ऐलान किया है। एयरलाइन के इस फैसले से कर्मचारियों को करारा झटका लगा है।